कोकराझार: बांग्लादेश में मौजूद आतंकी संगठनों की शह पर भारत में आतंकवाद फैलाने की साजिश को असम पुलिस ने नाकाम कर दिया. असम पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है जो ग्लोबल टेरर नेटवर्क से जुड़े हुए थे. इनका मकसद था भारत में आतंक का जाल खड़ा करना और इसके लिए उनका पूरा प्लान तैयार था. यह नेटवर्क बांग्लादेश के आतंकी संगठन अलकायदा इंटरनेशनल और अंसार उल बांग्लादेश के इशारे पर काम कर रहा था.
स्पेशल टास्क फोर्स असम पुलिस ने कोकराझार पुलिस की मदद से कोकराझार पीएस क्षेत्र के नामपारा में मंगलवार रात एक और छापेमारी और तलाशी अभियान चलाया. एक ग्लोबल टेररिस्ट ऑर्गनाइजेशन के कट्टरपंथी और जिहादी तत्वों की बड़ी आतंकी साजिश को नाकाम कर दिया. मंगलवार रात चलाए गए इस ऑपरेशन में आतंकी संगठन के गिरफ्तार सदस्यों के बांग्लादेश स्थित संचालकों के योजनाबद्ध एक बड़े आतंकी हमले को सफलतापूर्वक विफल कर दिया है. यह ऑपरेशन एसटीएफ असम प्रमुख डॉ पार्थ सारथी महंत, आईपीएस की प्रत्यक्ष निगरानी में चलाया गया था.
पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक, एसटीएफ-पीएस केस संख्या 21/2024 यू/एस 61(2)/147/148/149 आर/डब्ल्यू सेक्शन 10/13/16/18/188/20 यूए (पी) एक्ट 1967 और आर/डब्ल्यू सेक्शन 12 (1)(ए) ऑफ द पासपोर्ट एक्ट 1967 (10.12.2024 को पंजीकृत) की जांच के दौरान और एबीटी/एक्यूआईएस के पहले से गिरफ्तार आठ (08) जिहादी कैडरों से पूछताछ के आधार पर कोकराझार से इन्हें अरेस्ट किया गया, उनके नाम हैं अब्दुल ज़हीर शेख और सब्बीर मिर्धा. शेख जॉयपुर नामापारा का रहने वाला है जोकि कोकराझार के तहत आता है. वहीं सब्बीर मिर्धा रामफलबिल बाजार थाना के सेरफांगुरी का रहने वाला है और ये भी कोकराझार में ही. ये वर्तमान में उस्मान अली के घर, काचीपारा बाजार, थाना/जिला- कोकराझार, असम में रह रहा था.
कल रात चलाए गए इस ऑपरेशन ने आतंकी संगठन के गिरफ्तार सदस्यों के बांग्लादेश स्थित संचालकों द्वारा योजनाबद्ध एक बड़े आतंकी हमले को सफलतापूर्वक विफल कर दिया है. यह ऑपरेशन एसटीएफ असम प्रमुख डॉ पार्थ सारथी महंत, आईपीएस की प्रत्यक्ष निगरानी में चलाया गया. भारतीय साक्ष्य अधिनियम की धारा 23 के अनुसार, बाद में की गई पूछताछ और तलाशी अभियान के दौरान गिरफ्तार आरोपियों में से एक के ठिकाने से भारी मात्रा में हथियार, गोला-बारूद और अन्य असला बारूद बरामद किया गया. पुलिस को बरामद हथियारों और गोला-बारूद के साथ-साथ अन्य जो मिला उसमें चार हाथ से बनीं राइफलें, जो एके 47 जैसी दिखती हैं भी शामिल हैं.
पुलिस को 34 राउंड जिंदा गोलाबारूद, 24 राउंड खाली कारतूस, कॉर्टेक्स के साथ एक जोड़ी अन-प्राइम्ड आईईडी, एक विस्फोटक सहित हस्तनिर्मित ग्रेनेड, कृषि उपकरणों से बने डेटोनेटरों का एक सर्किट, 14 इलेक्ट्रॉनिक स्विच, अधिकतम विनाश के लिए 20 लोहे के टुकड़ों और प्लेटों के साथ आईईडी बनाने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले तीन लोहे के सांचे समेत भारी मात्रा में स्विच और तार, पटाखों में इस्तेमाल होने वाले विस्फोटक तथा अन्य आपत्तिजनक सामान बरामद किया गया.
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