नई दिल्ली । बांग्लादेश (Bangladesh) की एक अदालत (court) ने अपदस्थ प्रधानमंत्री शेख हसीना (sheikh hasina), उनकी बेटी साइमा वाजिद पुतुल (Saima Wajid Putul) और 17 अन्य के खिलाफ भ्रष्टाचार के एक मामले (Corruption case) में बृहस्पतिवार को नया गिरफ्तारी वारंट जारी (Arrest Warrant Issued) किया। इन पर धोखाधड़ी के जरिये आवासीय भूखंड हासिल करने का आरोप है। ढाका मेट्रोपॉलिटन वरिष्ठ विशेष न्यायाधीश जाकिर हुसैन गालिब ने भ्रष्टाचार निरोधक आयोग (एसीसी) द्वारा दाखिल आरोपपत्र को स्वीकार कर लिया। चूंकि, आरोपी फरार हैं, इसलिए अदालत ने उनके खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया।
क्यों जारी हुआ गिरफ्तारी वारंट?
एसीसी की ओर से पेश वकील मीर अहमद सलाम ने संवाददाताओं को बताया, ‘‘मेट्रोपोलिटन वरिष्ठ विशेष न्यायाधीश जाकिर हुसैन गालिब ने मामले में एसीसी के आरोपपत्र को स्वीकार करते हुए वारंट जारी किया।’’ उन्होंने कहा कि न्यायाधीश ने एसीसी को राजधानी ढाका के बाहरी इलाके में पूर्बाचल क्षेत्र में राज्य द्वारा संचालित ‘राजधानी उन्यन कार्तिपक्ष’ (आरएजेयूके) द्वारा पट्टे पर दी गई भूमि से जुड़े आरोप की सुनवाई के लिए चार मई को अपनी जांच रिपोर्ट प्रस्तुत करने को कहा है।
एसीसी ने अपदस्थ प्रधानमंत्री हसीना तथा अन्य सह-आरोपियों, जिनमें अधिकतर सरकारी अधिकारी थे, के विरुद्ध 12 जनवरी, 2025 को मुकदमा दायर किया था। आरोपपत्र के अनुसार, ‘पूर्बाचल न्यू सिटी हाउसिंग प्रोजेक्ट’ में भूखंड हासिल करने के लिए ‘‘दुर्भावनापूर्ण इरादे से’’ पुतुल ने अपनी मां एवं तत्कालीन प्रधानमंत्री हसीना को प्रभावित किया था।
शेख हसीना की बेटी पर भी कानूनी शिकंजा
एसीसी ने आरोप लगाया कि पुतुल ने ऐसा इस तथ्य के बावजूद किया कि ‘‘ढाका शहर में आरएजेयूके के अधिकार क्षेत्र में उनके और उनके परिवार के सदस्यों के पास एक घर, फ्लैट या आवास है।’’ पुतुल एक नवंबर, 2023 से विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के नयी दिल्ली स्थित दक्षिण पूर्व एशियाई क्षेत्रीय निदेशक के रूप में कार्यरत हैं।
बांग्लादेश के अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण ने इससे पहले हसीना, उनके राजनीतिक सहयोगियों और वरिष्ठ प्रशासनिक तथा सैन्य अधिकारियों के खिलाफ मानवता के खिलाफ अपराध जैसे आरोपों पर गिरफ्तारी वारंट जारी किए थे। बृहस्पतिवार का वारंट एसीसी द्वारा यह कहे जाने के ठीक एक दिन बाद आया है कि उसने हसीना, उनकी छोटी बहन शेख रेहाना और एक पूर्व अधिकारी द्वारा ‘मुजीब शताब्दी’ समारोह के आयोजन पर सरकारी खजाने से 4,000 करोड़ टका की कथित बर्बादी को लेकर नयी जांच शुरू की है। बांग्लादेश ने देश के संस्थापक बंगबंधु शेख मुजीबुर रहमान की 100वीं जयंती के अवसर पर 2020 में साल भर कार्यक्रम आयोजित किए थे, तब हसीना की अवामी लीग सत्ता में थी।
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