इस्लामाबाद। पाकिस्तान (Pakistan) में विरोध प्रदर्शन (Protest) कर रहे बलोच प्रदर्शनकारियों (Baloch protesters) को इस्लामाबाद हाईकोर्ट से थोड़ी राहत मिली है। दरअसल हाईकोर्ट ने इस्लामाबाद के स्थानीय प्रशासन को निर्देश दिया है कि वह प्रदर्शनकारियों के खिलाफ बल का प्रयोग ना करें। बलोच प्रदर्शनकारी बीती 20 दिसंबर से इस्लामाबाद के नेशनल प्रेस क्लब के बाहर धरना प्रदर्शन दे रहे हैं।
दरअसल बलोच सामाजिक कार्यकर्ता सम्मी दीन बलोच ने इस्लामाबाद हाईकोर्ट (Islamabad High Court) में याचिका दायर कर पुलिस (Police) पर प्रदर्शनकारियों का शोषण करने और उनके मार्च पर बल प्रयोग करने के आरोप लगाए थे। सम्मीदीन बलोच की याचिका (petition) पर नोटिस लेते हुए इस्लामाबाद हाईकोर्ट के जज मोहसिन अख्तर कियानी ने स्थानीय प्रशासन (local administration) को निर्देश दिया है कि वह प्रदर्शनकारियों के खिलाफ बल का प्रयोग नहीं करेंगे। साथ ही जज ने इस्लामाबाद के डिप्टी कमिश्नर और एसएसपी को अगली सुनवाई पर कोर्ट में पेश होने का आदेश दिया है। कोर्ट अब 5 जनवरी को इस मामले पर सुनवाई करेगा।
याचिकाकर्ता के वकील ने कोर्ट को बताया कि प्रदर्शनकारी शांतिपूर्वक धरना प्रदर्शन कर रहे हैं लेकिन इसके बावजूद पुलिस द्वारा प्रदर्शनकारियों के प्रदर्शन को जबरन खत्म करने की कोशिश की जा रही है। पुलिस ने कई महिलाओं और बच्चों को गिरफ्तार किया है। इस पर जज ने सवाल किया कि क्या प्रदर्शनकारी आगे बढ़ रहे हैं तो वकील ने कहा कि नहीं प्रदर्शनकारी आगे नहीं बढ़ रहे हैं और प्रेस क्लब में ही बैठकर शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे हैं। इसके बाद जज ने पुलिस प्रशासन को निर्देश दिया कि वह प्रदर्शनकारियों के खिलाफ बल का प्रयोग नहीं करेंगे।
बलूचिस्तान में लोगों के गायब होने और गैर न्यायिक हिरासत में लोगों की मौत का मुद्दा पुराना है। अब इसके खिलाफ बलोच लोग आवाज उठा रहे हैं और उन्होंने बलूचिस्तान के तुर्बत से इस्लामाबाद तक मार्च निकाला है। फिलहाल बलोच प्रदर्शनकारी इस्लामाबाद में धरना प्रदर्शन कर रहे हैं। इस मार्च के दौरान कई बार पाकिस्तान की पुलिस बल प्रयोग कर चुकी है और बड़ी संख्या में प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है।
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