रायपुर: छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल सरकार ने कोविड के इलाज के नाम पर निजी अस्पतालों की मनमानी पर लगाम लगाई है. इनके खिलाफ लगातार मिल रही शिकायतों के बाद सरकार ने अब राज्य में कोरोना के इलाज का रेट तय कर दिया है. प्रदेश के निजी अस्पताल अब कोरोना मरीजों से अधिकतम 17 हजार रुपए प्रतिदिन की दर से चार्ज कर सकते हैं.
प्रदेश सरकार ने निजी अस्पतालों में कोरोना मरीजों के इलाज दर का निर्धारण शानिवर को एक आदेश के बाद कर दिया. मरीजों की परेशानी को देखते हुए रायपुर के स्थानीय कांग्रेस विधायक और संसदीय सचिव विकास उपाध्याय ने स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंह देव और मुख्यमंत्री भपेश बघेल से कई अस्पतालों के खिलाफ शिकायत की. उपाध्याय की शिकायत के बाद राज्य सरकार ने इस सबंध में रविवार को आदेश जारी कर दिया.
दिप्रिंट से बात करते हुए कांग्रेस विधायक ने बताया, ‘निजी अस्पतालों प्रदेश भर में कोरोना के इलाज के नाम पर मनमानी कर रहे थे. मरीजों से 20 हजार से लेकर 20 लाख रुपए तक की मांग की गई थी. मरीज इलाज के लिए अपने घर के सामान और जेवर तक गिरवी रख रहे थे लेकिन निजी अस्पतालों ने उन पर कोई रहम नही दिखाया. इन अस्पताल प्रबंधनों में मानवीयता भी कहीं नही दिखी. मेरे स्वयं के पास अनेक शिकायतें आई थीं जिसकी मैंने अपने ही स्तर पर जांच कराई और सही पाया था.’
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