नई दिल्ली। महंगाई की पहले से ही मार झेल रहे देश के करोड़ों देशवासियो को एक और बड़ा झटका लग सकता है। बीमा कंपनियों ने इस साल इंश्योरेंस प्रीमियम बढ़ाने (insurance premium hike) की पूरी तैयारी कर ली है। कंपनियों का इरादा थर्ड पार्टी मोटर इंश्योरेंस (Third party motor insurance) को 15 से 20 प्रतिशत तक बढ़ाने का है।
बीमा विनियामक व विकास प्राधिकरण (Insurance and Regulatory Development Authority of India) को बीमा कंपनियों की ओर से भेजे गए प्रपोजल में कोरोना के कारण कंपनियों को हो रहे नुक़सान को देखते हुए थर्ड पार्टी इंश्योरेंस (third party insurance) में 15 से 20 फीसदी बढ़ोतरी करने की मंजूरी देने की मांग की गई है। यदि कंपनियों की मांग मंजूर मिलती है तो इसका सीधा असर देश के करोड़ों वाहन मालिकों पर पड़ेगा।
रिपोर्ट के मुताबिक, भारत में करीब 25 जनरल इंश्योरेंस कंपनियां हैं। कंपनियों को उम्मीद है कि उनके प्रपोजल को इरडा हरी झंडा दिखा देगा। कंपनियों का मानना है कि कोरोना के कारण उनको बहुत नुकसान हो रहा है। इसी को देखते हुए थर्ड पार्टी इंश्योरेंस का मौजूदा प्रीमियम ठीक नहीं है और उन्हें घाटा हो रहा है। कुछ कंपनियां की स्थिति ऐसी हो गई है कि उनकी करदान क्षमता (solvency) उनकी प्रिस्क्राइब्ड लिमिट से भी नीचे चली गई है। थर्ड पार्टी इंश्योरेंस क्लेम में भी बढ़ोतरी हुई है। इससे भी कंपनियों पर दबाव बढ़ा है।
बता दे कि सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) के 2018 के एक निर्णय के बाद नए दोपहिया वाहनों को खरीदते वक्त ही 5 साल का थर्ड पार्टी इंश्योरेंस और चारपहिया वाहनों के लिए 3 साल का थर्ड पार्टी बीमा लेना अनिवार्य है। मोटर व्हीकल एक्ट (Motor Vehicle Act) के अनुसार जो भी वाहन सड़क पर चलता है, उसका थर्ड पार्टी इंश्योरेंस होना आवश्यक है। इंश्योरेंस प्रीमियम इरडा (IRDAI.) निर्धारित करता है. प्रीमियम में हर साल बदलाव होता है। पिछले दो साल से कोरोना के कारण इसमें कोई चेंज नहीं हुआ है।
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