यूएन। यूक्रेन और रूस के बीच युद्ध (Russia Ukraine war) लगातार तेज हो रहा है। रूस (Russia) ने राजधानी कीव और खारकीव शहर में भारी तबाही (Heavy devastation in the city of Kyiv and Kharkiv) मचाई है। कई जगहों पर रिहाइशी इलाकों और अस्पतालों पर भी बमबारी की गई। वहीं यूक्रेन(Ukraine) ने यह भी मान लिया है कि रूसी सेना ने खेरसन शहर पर अपना नियंत्रण कर लिया है। इस मामले में संयुक्त राष्ट्र आमसभा (United Nations General Assembly) में रूस के खिलाफ निंदा प्रस्ताव पारित किया। हालांकि भारत ने इस मतदान में भाग नहीं लिया।
रूस का दावा अमेरिका ने किया खारिज
यूक्रेन में रूस का हमला लगातार तेज होता जा रहा है। रिपोर्ट्स के मुताबिक खेरासन शहर पर रूस ने कब्जा जमा लिया है। इसके अलावा खारकीव और कीव में भी तेज हमले हो रहे हैं। इसी बीच रूस ने दावा किया था कि यूक्रेन भारतीय छात्रों को ढाल की तरह इस्तेमाल कर रहा है। हालांकि इस पर अमेरिका का कहना है कि ऐसा कोई प्रमाण नहीं मिला है। इस बारे में कोई प्रामाणिक रिपोर्ट नहीं है कि यूक्रेन भारतीय छात्रों का इस्तेमाल खुद को बचाने के लिए कर रहा हो।
ICC ने शुरू की जांच
अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायालय ने यूक्रेन में हो रही तबाही की जांच शुरू कर दी है। न्यायालय ने कहा कि इस तरह से लोगों को शिकार बनाने के खिलाफ जांच और कार्रवाई जरूरी है।
1 सप्ताह में यूक्रेन से 10 हजार लोगों का पलायन
यूएन रिफ्यूजी एजेंसी के मुताबिक बीते एक सप्ताह में यूक्रेन से 10 लाख लोग पड़ोसी देशों में पलायन कर गए
भारत को मनाने की कोशिश कर रहा अमेरिका
अमेरिका के टॉप डिप्लोमैट ने कहा है कि वह भारत को रूस के खिलाफ वोट करने के लिए राजी करने का प्रयास कई बार कर चुके हैं लेकिन उन्हें सफलता नहीं मिली है। बुधवार को संयुक्त राष्ट्र में तीसरी बार इस मामले में वोटिंग कराई गई लेकिन भारत इस बार भी दूर रहा।
रूस का दावा, यूक्रेनी सेना ने भारतीय छात्रों को बंधक बनाया
पीएम मोदी और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच बुधवार फोन पर बात हुई। इसमें रूस का कहना है कि यूक्रेन के सुरक्षा बलों ने भारतीय छात्रों को मानव ढाल के रूप में इस्तेमाल करने के लिए बंधक बना लिया है ताकि उन्हें जाने से रोका जा सके। खबरों के मुताबिक, खारकीव मेट्रो स्टेशन में 300 से ज्यादा भारतीय कर्फ्यू के कारण फंसे हुए हैं। दिन में भारत ने एडवाइजरी जारी कर कहा था कि जो भी भारतीय खारकीव में फंसे हैं वो किसी भी हाल में वहां से चले जाएं।
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