नई दिल्ली (New Delhi)। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) (Indian Space Research Organization (ISRO)) के अध्यक्ष एस सोमनाथ (Chairman S Somnath) ने शनिवार को कहा कि गगनयान मिशन (Gaganyaan Mission) के लिए चुने गए अंतरिक्ष यात्री तैयार (Astronauts ready.) हैं और 2025 में उड़ान भरने का इंतजार (Waiting to take off in 2025) कर रहे हैं।
गुजरात के गांधीनगर में पंडित दीनदयाल ऊर्जा विश्वविद्यालय (पीडीईयू) के 11वें दीक्षांत समारोह में स्नातक छात्रों को संबोधित करते हुए सोमनाथ ने कहा, गगनयान कार्यक्रम का लक्ष्य 2025 में तीन दिवसीय मिशन के लिए चार यात्रियों को अंतरिक्ष में भेजना और उन्हें सुरक्षित पृथ्वी पर वापस लाना है। इसरो प्रमुख ने कहा कि विश्व में भारत आज अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी में अग्रणी बन गया है। भले ही हमारे यहां निवेश मामूली रहता है। देश खुद के अंतरिक्ष यान बनाने और खुद लॉन्च करने में सक्षम है।
गगनयान मिशन के तहत इसरो का लक्ष्य 2025 में तीन दिनों के लिए चार अंतरिक्ष यात्रियों को अंतरिक्ष में भेजना और सुरक्षित तरीके से उन्हें पृथ्वी पर उतारना है। सोमनाथ ने कहा कि चंद्रयान-3 की चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर ऐतिहासिक लैंडिंग के बाद, इसरो गगनयान मिशन को संभव बनाने के लिए प्रौद्योगिकी विकसित करने के लिए दिन-रात काम कर रहा है। उन्होंने कहा कि अंतरिक्ष यात्रियों को सुरक्षित वापस लाना इस मिशन का बेहद महत्वपूर्ण पहलू है। इसे संभव बनाने के लिए हमें बहुत सारी तकनीक विकसित करने की जरूरत है और हम इसे संभव बनाने के लिए दिन-रात काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ वर्षों में इसके लिए कई तकनीकों को नए सिरे से विकसित और सफल बनाया गया है।
सोमनाथ ने कहा कि इसरो अंतरिक्ष स्टेशन बनाने पर भी विचार कर रहा है, जो वैज्ञानिक और तकनीकी प्रगति और उद्योगों के लिए विभिन्न क्षेत्रों में काम करने के लिए महत्वपूर्ण है। इसरो अध्यक्ष ने कहा, चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग से मिली ऊर्जा हमें आज बड़े सपने देखने में सक्षम बनाती है। हमारा कोई भी सपना छोटा नहीं हो सकता। हम जो भी सफलता हासिल करते हैं, उसके साथ हमारे सपने और बड़े हो जाते हैं और इसे हासिल करना ही होगा। और यह हो सकता है।
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