नई दिल्ली। राजस्थान में जारी सियासी घमासान के बीच केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर निशाना साधा है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि राजस्थान कांग्रेस की ओर से पिछले हफ्ते एक फर्जी ऑडियो क्लिप जारी किया गया। शेखावत ने कहा कि राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत ने 2019 के लोकसभा चुनाव में अपने बेटे की हार का बदला लेने के लिए मेरे ऊपर आरोप लगाए हैं। ऑडियो टेप में जिस भी बात की जिक्र है वो दुर्भावनापूर्ण और अपमानजनक है। उन्होंने ये भी कहा कि रिकॉर्डिंग में न तो आवाज मेरी है, न ही एक्सेंट। मैंने तीनों ऑडियो क्लिप की बातचीत को पूरा सुना है।
गजेंद्र सिंह शेखावत ने पिछले साल हुए लोकसभा चुनाव में जोधपुर सीट पर अशोक गहलोत के बेटे और कांग्रेस उम्मीदवार वैभव गहलोत को लगभग 2.7 लाख वोटों से हराया था। वहीं ताजा सियासी घटनाक्रम के बीच कांग्रेस ने पिछले हफ्ते तीन ऑडियो क्लिप जारी किए थे, जिसमें कथित तौर पर राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार को हटाने को लेकर बातचीत की गई थी। इस ऑडियो टेप को लेकर केंद्रीय मंत्री शेखावत पर भी आरोप लगाए गए कि तीन लोगों की बातचीत में से एक वो भी थे। इसके अलावा दो अन्य में से एक कांग्रेस के विधायक भंवरलाल शर्मा और दूसरे संजय जैन थे। बाद में इस मामले को लेकर दो एफआईआर भी दर्ज की गईं।
केंद्रीय जल शक्ति मंत्री ने ऑडियो टेप का जिक्र करते हुए कहा कि इसमें जिस व्यक्ति को ‘गजेंद्र’ कहा जा रहा है, उसके बोलने का अंदाज बिल्कुल अलग श्रीगंगानगर इलाके जैसा है। वहीं मैं बिल्कुल जोधपुरी मारवाड़ी लहजे के साथ बोलता हूं। एफआईआर में ‘गजेन्द्र सिंह’ का नाम शामिल किए जाने को लेकर केंद्रीय मंत्री ने कहा, ‘रिकॉर्डिंग का स्रोत वेरिफाई करने लायक नहीं है। मेरे खिलाफ केस इसलिए किया गया जिससे फेयरमोंट होटल में रुके हुए कांग्रेस विधायकों के मन में डर का माहौल बनाया जा सके।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि राजस्थान सरकार की ओर से इस बात की कोई जांच नहीं की गई है कि यह ऑडियो सोशल मीडिया पर कैसे और कहां से आया। आखिर इसे किसने रिकॉर्ड किया है। क्लिप की सत्यता, प्रामाणिकता या यहां तक कि इसके स्रोत की पुष्टि करने के बजाय, सीएम गहलोत ने बदले की भावना से कार्रवाई की। उन्होंने 2019 चुनाव में बेटे की हार का प्रतिशोध लेने के लिए पुलिस को मेरा बयान दर्ज कराने और वॉयस सैंपल लेने के लिए भेज दिया। गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि इस कदम के जरिए वो अपने विधायकों को एक संदेश देना चाहते हैं कि अगर वह केंद्रीय मंत्री को घेर सकते हैं, तो उन्हें भी आरोपी बना सकते हैं।
दो बार सांसद गजेंद्र सिंह शेखावत ने पहली बार 2017 में जोधपुर से जीत दर्ज की थी। जिसके बाद मोदी कैबिनेट में उन्हें शामिल किया गया था। शेखावत ने खुलासा किया कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने दो दिन पहले सुबह 2 बजे राजस्थान पुलिस को उनके दिल्ली स्थित आवास पर भेजा था, लेकिन वे पूछताछ करने के बाद गेट से ही वापस चले गए थे। शेखावत ने कहा कि राजस्थान कांग्रेस में आंतरिक कलह है, ये 2018 के विधानसभा चुनाव और इससे पहले भी रहा है। राज्यसभा चुनाव से पहले या फिर 2018 चुनाव के दौरान भी, मैं खुले तौर पर कह रहा हूं कि राजस्थान में कांग्रेस बंटी हुई है। अब गहलोत पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट के साथ अपने व्यक्तिगत मामलों को निपटाने के लिए बीजेपी और उनके नेताओं के नाम का इस्तेमाल कर रहे हैं।
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