इंदौर। विजय नगर थाना क्षेत्र स्थित स्वर्णबाग कॉलोनी में प्रेम प्रसंग में युवती से बदला लेने के चक्कर में सात लोगों को जिंदा जलाने वाले संजय उर्फ शुभम दीक्षित तक पुलिस को घटना वाली बिल्डिंग के पास रहने वाली एक युवती लेकर गई। दरअसल इस युवती को उसके घरवाले मीडिया से बात नही करने दे रहे थे, लेकिन युवती ने ही पुलिस को बताया कि यह आग नहीं लगी। आग लगाई गई है। इसके बाद डीवीआर में आए फुटेज उसे दिखाए गए तो उसने संजय की पहचान की और जिस युवती से उसका प्रेम-प्रसंग था, उस तक पुलिस को पहुंचाया। इसके बाद उसकी प्रेमिका ने उसकी पोल खोली। उसकी प्रेमिका से क्राइम ब्रांच पूछताछ कर रही है।
संजय के पिता झांसी में रेलवे के इंजीनियर हंै। वह इंदौर में रहने से पहले दिल्ली के द्वारका में रहता था। वहां उसने कई लोगों से फ्रॉड किया और फिर भागकर इंदौर आ गया। यहां युवती से उसकी दोस्ती हुई और उस पर रुपए लुटाने लगा। जब उसे पता चला कि युवती की चंदन नगर क्षेत्र में रहने वाले युवक से शादी तय हो गई है तो उसने इस तरह युवती से खर्च किए रुपए वसूलने के लिए बदला लिया। संजय इंदौर में करीब 7 माह पहले ही आया था। वह बैंक और एटीएम फ्राड में माहिर है। न्यू विजय नगर कॉलोनी में रहने वाली एक युवती और युवक के साथ मिलकर वह फ्राड करता है। बताया जा रहा है कि परसों रात को संजय का उसकी प्रेमिका से विवाद भी हुआ था, जिसमें संजय ने धमकी दी थी कि उसे बर्बाद कर देगा। उसकी इस धमकी से प्रेमिका भी दहशत में थी, जिसके कारण वह जागती रही और यहीं कारण रहा कि उसकी जान भी बची।
हिन्दूवादियों की भीड़ देख पुलिस आई हरकत में…ताबड़तोड़ खंगाल डाले सीसीटीवी कैमरे
स्वर्णबाग कॉलोनी में कल हुई हृदय विदारक घटना के बाद पुलिस प्रशासन के अधिकारी दोपहर तक शार्टसर्किट से आग लगने की बात करते रहे, लेकिन इस बीच हिन्दूवादी संगठन से जुड़े कुछ लोगों को जब इस बात की जानकारी मिली कि आग लगी नहीं, बल्कि लगाई गई है। इसके बाद बड़ी संख्या में हिन्दूवादी संगठन से जुड़े लोग जुटने लगे थे। जिन्हें देख पुलिस अधिकारी हरकत में आए और ताबड़तोड़ आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों को खंगालने लगे, इसके चलते कुछ ही देर में स्थिति साफ हो गई और घटना में शामिल आरोपी का भी खुलासा हो गया। पुलिस इस बात को लेकर भी चिंतित थी कि कहीं अप्रिय स्थिति निर्मित न हो जाए। प्रशासन ने अभी भी वहां भारी पुलिस बल तैनात कर रखा है। अभी आरोपी एमवाय अस्पताल के कैदी वार्ड में भर्ती है, जहां से छुट्टी कराकर पुलिस उसे कोर्ट में पेश करेगी और रिमांड मांगेगी।
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