गुना। यूरिया की किल्लत एक बार फिर अन्नदााता को परेशान करने लगी है। पहले से ही कोविड-19 के चलते कई समस्याओं झेल रहे किसान रबी की फसल के लिए तैयारी में जुटे और परेशानियां आना शुरू हो गई हैं। रबी की फसल में किसानों के लिए सबसे बड़ी समस्या यूरिया और डीएपी की होती है। इस बार भी किसान यूरिया की किल्लत के कारण परेशान हो रहा है। उसे सोसायटियों के चक्कर काटने पड़ रहे हैं, संक्रमण को नजरअंदाज कर कतार में खड़ा होना पड़ रहा है या फिर ज्यादा दाम ज्यादा रुपये में लेना पड़ रहा है। गुरुवार को भी किसानों की लंबी कतार शहर की सोसायटी में देखी गई। कतार सुबह से लग थी, लेकिन यूरिया किसानों को दोपहर के बाद ही मिल पाया।
दरअसल, गुरुवार को सैकड़ों किसानों की लंबी कतार शहर की सोसायटी के बाहर उर्वरक खरीदने के लिए लग गई। किसान रबी की फसल की तैयारी को लेकर उर्वरक लेने आए थे। उर्वरक की उपलब्धता होने के बावजूद दोपहर तक किसान खड़े रहे। घंटों तक लाईन में लगने के बाद भी किसानों को पर्याप्त मात्रा में उर्वरक नहीं मिला। किसानों को प्रति एकड़ एक बोरी ही उर्वरक दिया गया। जबकि किसानों के हिसाब से उन्हें प्रति एकड़ दो बोरी की आवश्यकता थी। जिसके चलते उन्हें बाजार से यूरिया लेनी पड़ सकती है। जिसके लिए उन्हें अतिरिक्त भुगतान करना पड़ सकता है।
पांच एकड़ पर पांच बोरी
ग्राम बरखेड़ागिर्द के कृषक विक्रम सिंह ने बताया कि मेरी पास पांच एकड़ जमीन है। जिसकी बोवनी की तैयारी हम कर रहे हैं। यूरिया की किल्लत हर साल होती है। इसलिए पहले से इंतजाम कर रहे हैं, लेकिन हमें सोसायटियों में पर्याप्त उर्वरक नहीं मिल रहा है। जिससे परेशानी होगी।