• img-fluid

    कोरोना के साथ ही मानसून में डेंगू का खतरा डॉक्टर्स के सामने बना चुनौती, ऐसे रखे बच्चों और बुजुर्गों का खास ख्याल

  • August 11, 2021

     

    नई दिल्ली। कोरोना वायरस (Coronavirus) संक्रमण का दौर खत्म नहीं हुआ है, ऐसे में मानसून (monsoon) की दस्तक और साथ में डेंगू (Dengue) का खतरा भी डॉक्टर्स के सामने अलग चुनौती पेश कर रहा है. डेंगू के साथ ही कोविड-19 (Covid-19) सह-संक्रमण को लेकर चिंता लगातार बनी हुई है. दोनों बीमारियों के लक्षण लगभग एक जैसे होने के चलते भी मरीज के इलाज में मुश्किलें आ रही हैं. जानकार इस दौरान बच्चों और बुजुर्गों का खास ख्याल रखे जाने की सलाह देते हैं.

    नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फर्मेशन (National Center for Biotechnology Information) के हवाले से बताया गया, ‘डेंगू (Dengue) और कोरोना वायरस (Corona Virus) की बीमारी (कोविड-19) में एक ही तरह के लक्षण और लैब में हुई प्राप्तियां, डेंगू से जूझ रहे एशिया के कुछ देशों में नैदानिक स्तर पर चुनौती पेश कर रहे हैं.’ इस स्टडी में बाली, इंडोनेशिया में कोविड-19 (Covid19) और डेंगू (Dengue) के साथ एक संक्रमण के तीन संदिग्ध मामले शामिल किए गए थे, जिनमें से एक मरीज में दोनों संक्रमणों की पुष्टि हुई थी.

    रिपोर्ट में कोहिनूर अस्पताल के सीनियर फिजिशियन शरत कोल्के के हवाले से बताया गया कि इन बीमारियों में बुखार, दस्त, उल्टी, सिर दर्द और जोड़ों में दर्द जैसे समान लक्षण नजर आते हैं. उन्होंने बताया कि खराश, गंध या स्वाद नहीं आना, खांसी जैसे अतिरिक्त लक्षण कोविड-19 की पहचान में मदद कर सकते हैं. डॉक्टर कोल्के ने कहा कि ‘सह-संक्रमण को रोकने से कोविड मरीजों को अलग करने और सही तरीके से इलाज में मदद मिलेगी. इससे गलत उपचार की संभावनाएं भी कम होंगी, जो मृत्यु दर को बढ़ा सकती हैं.


    मौसमी बीमारियों के बढ़ने के साथ ही मानसून से जुड़ी हर बीमारी के लक्षणों पर बारीकी से नजर रखना जरूरी हो जाता है. उदाहरण के लिए डेंगू में तेज बुखार, उल्टी का मन, उल्टी, शरीर में तेज दर्द, प्लेटलेट कम होना, चकत्ते आदि आम लक्षण हैं. चिकनगुनिया में जोड़ों में तेज दर्द, आंखों के पिछले हिस्से में दर्द, ठंड लगना हो सकते हैं. लेप्टोस्पायरोसिस में किडनी से जुड़ी परेशानियां, जॉन्डिस, आंखों में लालपन हो सकते हैं.

    चेंबूर स्थित जेन मल्टीस्पेश्लिटी हॉस्पिटल के डॉक्टर विक्रांत शाह बताते हैं, ‘फिलहाल, हम डेंगू और मलेरिया के बढ़ते मामले देख रहे हैं. हमें एक मरीज ऐसा भी मिला, जिसे लेप्टोस्पायरोसिस हुआ था. अगर 2-3 दिनों में बुखार नहीं जाए, तो लोगों को डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए. अगर इस दौरान ठंड लगना, चकत्ते, सिरदर्द भी होते हैं, तो उन्हें ज्यादा सतर्क हो जाना चाहिए. ये लक्षण मलेरिया, डेंगू के कारण हो सकते हैं. बच्चों और बुजुर्गों का तत्काल ध्यान रखा जाना चाहिए.’

    उन्होंने कहा, ‘मानसून में भी उल्टी, दस्त के साथ बुखार और आंखों का पीला होना जॉन्डिस और गेस्ट्रोएन्टेरिटिस की ओर इशारा करता है. डॉक्टर की बताई हुई दवाएं लें और घरेलू उपचार का सहारा ना लें.’ इसके अलावा एक्सपर्ट्स उबला और घर का बना ताजा भोजन लेने की सलाह देते हैं.

    Share:

    जलवायु परिवर्तन: आखिर कब संभलेंगे हम?

    Wed Aug 11 , 2021
    – अली खान इस बात की गारंटी है कि चीजें और बिगड़ने जा रही हैं। मैं ऐसा कोई क्षेत्र नहीं देख पा रही, जो सुरक्षित है। कहीं भागने की जगह नहीं रहेगी और न ही कहीं छिपने की गुंजाइश रहने वाली है। -यह अमेरिकी वरिष्ठ जलवायु वैज्ञानिक लिंडा मर्न्स का कहना है। संयुक्त राष्ट्र यानी […]
    सम्बंधित ख़बरें
  • खरी-खरी
    मंगलवार का राशिफल
    मनोरंजन
    अभी-अभी
    Archives
  • ©2024 Agnibaan , All Rights Reserved