मुंबई। महाराष्ट्र में शिवसेना (Shiv Sena in Maharashtra) की मुश्किलें लगातार बढ़ रही है। पार्टी टूटने के बाद नाम और चुनाव चिह्न (name and symbol) भी हाथ से निकलने के बाद शिवसेना को महाराष्ट्र में एक ओर बड़ा झटका लग सकता है। बताया जा रहा है कि शिवसेना के मौजूदा हालात से सहयोगी दल भाजपा और कांग्रेस दोनों नाराज हैं। उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) अपनी पार्टी को बचाने में पूरी तरह नाकाम रहे हैं। उद्धव ठाकरे के परिवारवाद प्रेम के चलते न केवल शिवसेना में नाराजगी बढ़ गई है, बल्कि रांकापा व कांग्रेस भी नाराज है, जिससे विधानसभा चुनाव से पहले गठबंधन टूट सकता है।
राकांपा…. कांग्रेस के साथ … पवार हुए राहुल के मुरीद
महाराष्ट्र विधानसभा के साथ लोकसभा चुनाव भी राकांपा कांग्रेस के साथ मिलकर लड़ेगी। राकांपा नेता शरद पवार ने स्वयं इसकी जानकारी देते हुए कहा कि कांग्रेस देश की बड़ी पार्टी है और कांग्रेस को सभी विपक्षी दलों को लीड करना चाहिए। उन्होंने राहुल गांधी की जमकर तारीफ की और कहा कि उन्होंने कश्मीर से कन्या कुमारी तक जो यात्रा की है उससे कांग्रेस की साख बढ़ी है। पवार ने कहा कि हम एकजुट हो जाएं तो निश्चित ही भाजपा को सत्ता से उखाड़ फेंक सकते हैं।
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