लंदन। अस्पतालों (Hospitals) में बेड और ऑक्सीजन (Oxygen) की किल्लत के बाद अब देश कोरोना वैक्सीन (Corona Vaccine) की कमी से जूझ रहा है। कई राज्यों में टीकों के अभाव में 18+ वालों का वैक्सीनेशन शुरू नहीं हो सका है। ऐसे में सबकी जुबां पर केवल यही सवाल है कि आखिर वैक्सीन की किल्लत कब दूर होगी? सीरम इंस्टीट्यूट के सीईओ अदार पूनावाला (Adar Poonawalla) का इस संबंध में कहना है कि भारत को अगले कुछ महीनों तक वैक्सीन की कमी का सामना करना पड़ सकता है।
Serum Institute ने नहीं बढ़ाई थी क्षमता : अदार पूनावाला ने कहा कि 10 करोड़ वैक्सीन निर्माण की क्षमता जुलाई से पहले नहीं बढ़ने वाली। बता दें कि मौजूदा वक्त में 6 से 7 करोड़ वैक्सीन का उत्पादन हो रहा है। फाइनेंशियल टाइम्स को दिए एक इंटरव्यू में पूनावाला ने कहा कि सीरम इंस्टीट्यूट (Serum Institute of India) ने ऑर्डर की कमी के कारण पहले क्षमता का विस्तार नहीं किया था। लिहाजा वैक्सीन की कमी का संकट जुलाई तक जारी रह सकता है।
‘नहीं पता था Second Wave आएगी’ : सीरम इंस्टीट्यूट के सीईओ ने आगे कहा, ‘ज्यादा ऑर्डर नहीं थे। हमें नहीं लगता था कि हमें एक साल में 100 करोड़ से अधिक खुराक बनाने की जरूरत है। अधिकारियों को भी जनवरी में दूसरी लहर की उम्मीद नहीं थी। हर कोई वास्तव में महसूस कर रहा था कि भारत में महामारी खत्म होने के कगार पर थी। इसलिए वैक्सीन का उत्पादन नहीं बढ़ाया गया’।
सरकार ने बनाई है Vaccine Policy : वैक्सीन की कमी के लिए सीरम इंस्टीट्यूट को दोधी ठहराए जाने पर पूनावाला ने कहा कि वैक्सीन नीति सरकार द्वारा बनाई गई थी। उन्होंने कहा टीके की किल्लत के लिए मेरी आलोचना की गई, मुझ पर सवाल उठाए गए जबकि हकीकत यह है कि पहले वैक्सीन की मांग ही नहीं थी, हमें नहीं लगा था कि कभी इतने बड़े पैमाने पर वैक्सीन चाहिए होगी। अब जब डिमांड एकदम से बढ़ गई है, तो उसे पूरा करने में कुछ समय लगेगा।
London में हैं Poonawalla : अदार पूनावाला इस समय लदंन में हैं। उन्होंने आरोप लगाया है कि भारत में उन्हें लगातार धमकी भरे कॉल आ रहे थे, जिसमें वैक्सीन की मांग की जा रही थी। ऐसे में वो लंबे समय तक लंदन में ही रहेंगे, क्योंकि उन्हें भारत में रहना सुरक्षित नहीं लग रहा। हालांकि, ये बात अलग है कि केंद्र सरकार ने पूनावाला को वाई श्रेणी की सुरक्षा उपलब्ध कराई थी। पूनावाला ने कहा है कि मैं अभी लंदन में ही रहूंगा। कब तक यहां रहूंगा, मुझे नहीं पता। अभी हालात खराब हैं। सारा भार मेरे कंधों पर है पर मैं ये सब अकेले नहीं कर सकता।
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