नई दिल्ली। न्यूयॉर्क (New York) की लग्जरी ज्वैलरी कंपनी ऐथर (Aether) ने हवा से डायमंड तैयार किया है। इसे लैब में बनाया गया है। कंपनी का दावा है कि यह फिजिकली और केमिकली दोनों तरह से असली डायमंड (Diamond) की तरह है जिसे माइनिंग (Mining) के जरिए जमीन से निकाला जाता है। नई तकनीक की मदद से इस हीरे को तैयार किया गया है। जानिए यह हीरा क्यों खास और इसे कैसे तैयार किया गया है।
डेलीमेल की रिपोर्ट के मुताबिक, इस हीरे को वातावरण में मौजूद कार्बन डाई ऑक्साइड (CO2) की मदद से तैयार किया गया है। कंपनी का कहना है कि वायु प्रदूषण की एक बड़ी वजह है कार्बन डाई ऑक्साइड है। नई तकनीक का इस्तेमाल करके इस गैस की मदद से बेशकीमती रत्न को तैयार किया जा सकता है। लैब में यह डायमंड तैयार कैसे किया गया है, अब इसे समझते हैं। डायमंड को 4 चरणों में तैयार किया गया है। पहले चरण में रिएक्टर का इस्तेमाल करके वातावरण से कार्बन डाई ऑक्साइड गैस को अलग यानी एक्सट्रैक्ट किया गया।
नई तकनीक की मदद से हाइड्रोकार्बन सिन्थेसिस प्रक्रिया को पूरा किया गया। ऐसा करने के बाद कार्बन डाई ऑक्साइड को हाइड्रोकार्बन में तब्दील किया गया। हाइड्रोकार्बन को रसायन की भाप की मदद से डायमंड में बदला गया। लैब में प्रॉसेस के जरिए डायमंड के क्रिस्टल (Diamond Crystals) तैयार किए जाते हैं। इसके बाद इसकी कटिंग की जाती है और पॉलिश की जाती है। ऐसा करने से यह रत्न में तब्दील हो जाते हैं। गौरतलब है कि इस डायमंड की कीमत को लेकर अभी कंपनी ने खुलासा नहीं किया है।
कंपनी के कोफाउंडर रेयान शियरमैन (Cofounder Ryan Shearman) का कहना है, हमें गर्व है कि हमने हवा के जरिए दुनिया के पहले क्वालिटी डायमंड तैयार किए हैं। हम एयर पॉल्यूशन को डायमंड में तब्दील करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। रेयान का कहना है, हवा से करीब 20 टन कार्बन-डाई-ऑक्साइड को एक्सट्रैक्ट करके एक कैरेट डायमंड तैयार किया जा सकता है।
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