- अब जमीन कारोबारियों का फोकस इस क्षेत्र पर, मुंह माँगा मिल रहा दाम
उज्जैन। उज्जैन में मेडिकल कॉलेज का सपना अब साकार होने जा रहा है। इसमें 36 महीनों में 6 नई बहुमंजिला इमारतें जिला अस्पताल की जमीन पर खड़ी की जाएगी। मेडिसिटी बनने के बाद आसपास के क्षेत्र की व्यवसायिक और आर्थिक गतिविधियों में वृद्धि करेगी।
उल्लेखनीय यह है कि जैसे-जैसे शहर में सेहत की सबसे बड़ी उम्मीद मेडिकल कॉलेज के बनने की गति आगे बढ़ रही है, वैसे वैसे जिला अस्पताल और उसके आसपास जैसे क्षीरसागर, बहादुरगंज, कुशलपुरा, मालीपुरा, कोयला फाटक आदि क्षेत्रों में व्यवसायिक गतिविधियाँ भी बढ़ रही हैं। हालात यह है कि जिन लोगों के मकान और जमीन जिला अस्पताल से सटे हुए है, वे लाज या व्यावसायिक भवन निर्माण की तैयारी में हैं। लोगों का मानना है कि कालेज के आसपास कम से कम दो सौ से अधिक तो सिर्फ दवा की दुकानें ही खुल जाएँगी। इसके अलावा होटल, रेस्तरां, किराना दुकान, जेनरल स्टोर, दूध, फल, सब्जियाँ समेत अन्य चीजों की दुकानें भी खुलेंगी। यह मेडिकल कॉलेज उज्जैन सहित पूरे प्रदेश का सबसे बड़ा स्वास्थ्य केंद्र होगा, इस वजह से इसका विस्तार भी उसी रूप में लोग देख रहे हैं। स्थानीय लोगों का कहना है कि उज्जैन अब शैक्षणिक हब के रूप में विकसित हो रहा है। इससे जिला अस्पताल के आस पास के इलाके का तेजी से विकास होगा है। अगले तीन से चार वर्षों में यहाँ रोजाना 5 हजार की अतिरिक्त आबादी रहेगी। इनमें छात्र, इलाज कराने वाले लोग, उनके स्वजन और बाहर से आए व्यवसायी वर्ग के लोग होंगे। इससे शहर और आसपास के लोगों की आर्थिक व्यवस्था भी मजबूत होगी। इससे उज्जैन ही नहीं, आसपास के क्षेत्र का भी तीव्र गति से विकास होगा। यहां रोजी-रोजगार के अनेक साधन विकसित होंगे। बता दें कि उज्जैन में मेडिकल कॉलेज 14.97 एकड़ भूमि पर निर्मित किया जाएगा। निर्माण क्षेत्र 1 लाख 42 हजार 34 वर्ग मीटर प्रावधानित है। इसकी कुल लागत 592.3 करोड़ रुपए है। इसमें फायर सेफ्टी के लिए आधुनिक तकनीकों, ऊर्जा दक्षता के लिए एलईडी लाइटिंग, सौर ऊर्जा और ऊर्जा-कुशल एचवीएसी सिस्टम का उपयोग किया गया है। वर्षा जल संग्रहण और अपशिष्ट जल के पुन: उपयोग के साथ सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट का भी प्रावधान किया गया है। मेडिकल कॉलेज में फुट ओवर ब्रिज, ग्रंथालय भवन, हॉस्टल, सर्विस ब्लॉक, एमजीपीएस ब्लॉक और ईएसएस ब्लॉक की सुविधा शामिल हैं।