वॉशिंगटन। अमेरिका (America) में राष्ट्रपति चुनाव (Presidential Election) को लेकर सियासी गलियारों में हलचल मची हुई है। अब चुनाव होने में एक महीने से भी कम का समय रह गया है। डेमोक्रेटिक की ओर से कमला हैरिस (Kamala Harris) और रिपब्लिकन ने डोनाल्ड ट्रंप (donald trump) को चुनावी मैदान में उतारा है। दोनों ही जीत के लिए अपनी पुरजोर ताकत लगा रहे हैं। अब उपराष्ट्रपति रिपब्लिकन के तीन भारतीय-अमेरिकी नेताओं के निशाने पर आ गई हैं। उन्होंने आव्रजन एवं विदेश नीतियों में कथित रूप से खामियों को लेकर हैरिस की आलोचना की।
1.2 करोड़ अवैध प्रवासियों को स्वास्थ्य सेवा देंगी हैरिस: जिंदल
सोशल मीडिया पर विज्ञापन के रूप में चलाए जा रहे लुइसियाना के पूर्व गवर्नर बॉबी जिंदल ने एक वीडियो में दावा किया कि हैरिस की दवाओं से जुड़ी योजना 1.2 करोड़ अवैध प्रवासियों को ‘गोल्ड प्लेटेड’ स्वास्थ्य सेवा देगी। इससे अमेरिका में बड़ी संख्या में अवैध प्रवासी आएंगे। अपने परिवारों और दोस्तों को झूठ के झांसे में नहीं फंसने दें।
बता दें, जिंदल का यह वीडियो राजनीतिक मामलों पर कार्रवाई करने वाली समिति अमेरिका फर्स्ट पॉलिसी इंस्टीट्यूट की ओर से जारी किया गया है। 53 साल के जिंदल साल 2008 से 2016 तक लुइसियाना के गवर्नर रहे। 2016 में उन्होंने रिपब्लिकन की ओर से राष्ट्रपति चुनाव में अपनी किस्मत आजमाई थी। शुरुआत में ट्रंप के प्रचार अभियान में कम भागीदारी करने और दूसरी तरफ रहने के बाद जिंदल अब पूर्व राष्ट्रपति की नीतियों का समर्थन करने के लिए फिर से सक्रिय हो गए हैं।
इन लोगों ने भी बोला हमला
जिंदल के अलावा दक्षिण कैरोलिना की पूर्व गवर्नर निक्की हेली और उद्योगपति से नेता बने विवेक रामास्वामी भी राष्ट्रपति पद के लिए चुनाव मैदान में उतरे थे। हालांकि अब तीनों ही ट्रंप का समर्थन किया है। रामास्वामी ट्रंप के करीबी विश्वासपात्र के तौर पर उभरे हैं और उनके पक्ष में प्रचार कर रहे हैं।
ट्रंप को चुनाव जीतते देखना चाहती हूं: हेली
हेली ने सोमवार को कहा, ‘जब मैं मुद्दों और दोनों उम्मीदवारों के बीच मतभेदों को देखती हूं तो इसमें कोई सवाल ही नहीं उठता कि मैं डोनाल्ड ट्रंप को यह चुनाव जीतते देखना चाहती हूं। हम कमला हैरिस और टिम वाल्ज को नहीं जीता सकते। आपको बस इतना करना है कि कमला हैरिस ने अबतक क्या कहा है। वह नहीं सोचती कि अवैध अप्रवासी गलत हैं। वह सोचती हैं कि हमें उन्हें मुफ्त शिक्षा, रहने के लिए मुफ्त जगह, मुफ्त स्वास्थ्य सेवा देनी चाहिए।’
‘उनके पास विदेश नीति का अनुभव नहीं’
उन्होंने दावा किया, ‘हैरिस और उनके साथी वाल्ज के पास विदेश नीति का अनुभव नहीं है। उनके पास जो अनुभव है वह ईरान समझौते का विस्तार करना और अमेरिका को मौत की नींद सुला देने वाले आतंकवादी संगठन को और अधिक धन देना है। वहां बहुत सारे मतभेद हैं। हमें यह उम्मीद करनी चाहिए कि डोनाल्ड ट्रंप इस चुनाव में जीत हासिल करें।’ इससे पहले उन्होंने यह भी कहा था कि मौजूदा राष्ट्रपति चुनाव इस सदी का सबसे टक्कर वाला चुनाव बनने जा रहा है।
क्या बोले रामास्वामी?
हालांकि इन तीन भारतीय-अमेरिकी नेताओं में रामास्वामी हैरिस के सबसे कड़े आलोचक के तौर पर उभरे हैं। वह पूरे देश में ट्रंप के पक्ष में प्रचार कर रहे हैं, खासकर जिन राज्यों में सबसे टक्कर वाला मुकाबला है। पिछले हफ्ते उन्होंने पेंसिल्वेनिया में एक अभियान रैली की थी, जिसमें सैकड़ों लोग जमा हुए थे। एक इंटरव्यू में उन्होंने कहा, ‘उम्मीदवार कमला हैरिस को लेकर ज्यादा चिंतित होने की जरूरत नहीं है। वह एक कट्टरपंथी उदारवादी हैं, जो नतीजे नहीं दे सकतीं और चुनाव प्रचार के दौरान झूठ बोलने के अलावा कुछ नहीं करतीं।’
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