अमरावती। आंध्र प्रदेश (Andhra Pradesh) से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है। यहां के तेनाली में तीन महिलाएं (three women) पहले अजनबियों (strangers) से दोस्ती (friendship ) करतीं। उसके बाद उन्हें पेय पदार्थ (drink) में सायनाइड (cyanide) मिलाकर दे देतीं। इसके बाद मासूम लोगों से सोना, नकदी और अन्य कीमती सामान चुरा लेती थीं। हालांंकि, पुलिस ने अब इन सीरियल किलर महिलाओं पर शिकंजा कसा है।
चार लोगों की हत्या का आरोप
पेय पदार्थ में सायनाइड मिलाकर तीन महिलाओं समेत चार लोगों की हत्या करने के आरोप में तीनों को गिरफ्तार किया गया है। आरोपियों की पहचान 40 साल की मुनगप्पा रजनी, 32 वर्षीय मदियाला वेंकटेश्वरी और 60 साल की गुलरा रामनम्मा के रूप में हुई।
ऐसे देती थीं अपराध को अंजाम
पुलिस के अनुसार, महिलाएं उन पीड़ितों को निशाना बना रही थीं, जिनके पास सोने के आभूषण, नकदी या अन्य कीमती सामान होते थे। पहले बे अजनबियों से दोस्ती करती थीं। फिर मौका देखकर ड्रिंक में सायनाइड मिला देती थीं। सायनाइड पीने के बाद इंसान का जिंदा बचना मुश्किल हो जाता था। पीड़ित पेय पीने के तुरंत बाद मर जाते थे। इसके बाद महिलाएं उनका कीमती सामान चुराकर फरार हो जाती थीं।
जून में हुई थी एक महिला की हत्या
पुलिस जांच से पता चला कि महिलाएं कम से कम चार हत्याओं में शामिल थीं। इनमें नागुर बी नाम की महिला की हत्या भी शामिल थी, जिसकी इस साल जून में हत्या कर दी गई थी। महिलाओं ने दो अन्य लोगों को भी मारने की कोशिश की थी, लेकिन वे बच गए।
मुख्य आरोपी मडियाला वेंकटेश्वरी अपराध की दुनिया में कोई नई नहीं थीं। उसने कंबोडिया की यात्रा से पहले चार साल तक स्वयंसेवक के रूप में काम किया था, जहां वह साइबर अपराधों में शामिल थी। पुलिस ने महिलाओं के कब्जे से सायनाइड और अन्य सबूत जब्त कर लिए हैं। इसके अलावा एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर लिया है, जिसने कथित तौर पर उन्हें सायनाइड मुहैया कराया था।
इन धाराओं में केस दर्ज
पुलिस अधीक्षक सतीश कुमार ने कहा कि महिलाओं ने अपराध कबूल कर लिया है और उन्हें भारतीय दंड संहिता की संबंधित धाराओं के तहत गिरफ्तार किया गया है।
जॉली जोसेफ सायनाइड मामले की याद ताजा
तेनाली की घटना ने केरल के जॉली जोसेफ सायनाइड मामले की याद दिला दी। केरल के कोजीकोड इलाके में एक जगह है कूड़थई। 2002 से लेकर 2016 तक इस इलाके में छह हत्याएं हुई थीं, जिनमें एक चीज कॉमन थी। सभी हत्याओं में सायनाइड का इस्तेमाल किया गया था। 2019 में इस मामले की जांच हुई और जब सच सामने आया तो लोगों की रूह कांप गई थी।
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