नई दिल्ली. लेबनान (Lebanon) में हिजबुल्लाह (Hezbollah) और इजरायल (Israel) के बीच जंग भले ही रुक गई है, लेकिन गाजा (Gaza) में इजरायली सेना (Israeli army) का कहर जारी है. एक बार फिर गाजा में रहने वाले फिलिस्तीनियों (Palestinians) पर जबरदस्त हवाई हमला हुआ है. दीर अल-बलाह के एक शरणार्थी शिविर पर हुई इजरायली हमले में चार बच्चों और एक महिला सहित कम से कम सात लोग मारे गए हैं, जबकि दर्जनभर लोग घायल हो गए हैं.
वहीं, आईडीएफ और आईएसए ने गाजा में एक 52 वर्षीय बंधक कायद फरहान अलकादी के रेस्क्यू का दावा किया है. कायद को 7 अक्टूबर को हुए हमले के बाद हमास के लड़ाकों ने अगवा कर लिया था. इसके बाद उन्हें गाजा लाकर बंधक बना लिया था. आईडीएफ के मुताबिक, रिहा कराए गए बंधक की हालत स्थिर है. उन्हें अस्पताल में चिकित्सा जांच के लिए भेजा गया है. उनके परिवार को पूरी जानकारी दे दी गई है.
गाजा में पिछले 25 साल में पहली बार पोलियो का केस सामने आने के बाद यूएन टीकाकरण अभियान शुरू करने जा रहा है. कुछ दिन पहले यहां एक 10 महीने का बच्चा पोलियो से ग्रस्ती पाया गया था. इसके साथ ही गाजा के दो प्रमुख शहरों के अपशिष्ट जल में पोलियो वायरस पाया गया था. पिछले 10 महीने से जारी इजरायली बमबारी से बचने के लिए हजारों फिलिस्तीनी टेंटों में रह रहे हैं. वहां भारी गंदगी फैली है.
बताते चलें कि रविवार को हजारों प्रदर्शनकारियों ने तेल अवीव में मार्च निकाला. इजरायल की सरकार से बंधकों की रिहाई के लिए एक समझौते पर पहुंचने की अपील की. बंधक बनाए गए लोगों के परिजनों और दोस्तों को डर है कि गाजा में युद्ध लंबा खींचा तो ज्यादा बंधक मारे जाएंगे. तेल अवीव में लंबे समय से प्रदर्शन कर रहे हजारों लोग इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू और उनकी पूरी सरकार से इस्तीफे की मांग कर रहे हैं.
प्रदर्शनकारियों का दावा है कि नेतन्याहू और उनकी सरकार बंधकों को छुड़ाने और देश को चलाने में पूरी तरह से असमर्थ है. ये प्रदर्शन ऐसे समय में हुआ जब पिछले 10 महीने से गाजा में जारी जंग को खत्म करने के लिए मिस्र की राजधान काहिरा में अंतिम दौर की बातचीत जारी है. अमेरिका, कतर और मिस्र की मध्यस्थता में चल रही बातचीत में इजरायल के प्रतिनिधि मौजूद हैं, लेकिन हमास इस बातचीत में भाग नहीं ले रहा है.
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