नई दिल्ली। पहाड़ से लेकर मैदान तक इन दिनों भारी बारिश हो रही है। उत्तराखंड (Uttarakhand) के रुद्रप्रयाग, चमोली और टिहरी में भारी बारिश ने तबाही मचा दी। रुद्रप्रयाग जिले की केदारघाटी (Kedar Valley) के फाटा के समीप गदेरे में भूस्खलन से मलबे में दबकर नेपाली (Nepali) मूल के चार मजदूरों की मौत हो गई। वहीं, हरिद्वार जिले में एक व्यक्ति उफनती गंगा नदी (The River Ganges) में नहाते समय बह गया। उधर, त्रिपुरा में बाढ़ की स्थिति विकराल बनी हुई है। पूर्वोत्तर राज्य में बाढ़-बारिश की वजह से अब तक 23 लोग जान गंवा चुके हैं। वहीं, 17 लाख से ज्यादा लोग प्रभावित हैं। इस बीच, केंद्र की तरफ से बाढ़ राहत के लिए 40 करोड़ रुपये की मदद देने को मंजूरी दी गई है। इस बीच मौसम विभाग ने देश के कई राज्यों के लिए बारिश को लेकर अलर्ट जारी किया है।
एमपी में 26 अगस्त तक जारी रहेगा बारिश का दौर
मौसम विभाग के मुताबिक, बंगाल की खाड़ी और अरब सागर में लो प्रेशर एरिया की वजह से मध्यप्रदेश में बारिश का स्ट्रॉन्ग सिस्टम एक्टिव हो गया है। अगले तीन दिन यानी 26 अगस्त तक तेज बारिश का दौर रहेगा। 25 अगस्त से सिस्टम और मजबूत हो जाएगा। मौसम विभाग की सीनियर वैज्ञानिक वेद प्रकाश ने बताया कि वर्तमान में एक मानसून ट्रफ प्रदेश के सीधी से होकर गुजर रही है। बंगाल की खाड़ी में लो प्रेशर सिस्टम एक्टिव है। वहीं, दूसरा लो प्रेशर एरिया अरब सागर की तरफ एक्टिव है, जो आने वाले दिनों में मध्यप्रदेश के दक्षिण-पश्चिमी हिस्से की ओर बढ़ेगा। उन्होंने बताया कि एक साइक्लोनिक सर्कुलेशन सिस्टम भी है। इस वजह से प्रदेश में बारिश का दौर चल रहा है। अगले 24 घंटे में सिस्टम मजबूत होगा। पश्चिमी, उत्तरी और दक्षिण हिस्से में बारिश का दौर बना रहेगा।
ओडिशा में चार दिनों तक भारी बारिश का अनुमान
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने शुक्रवार को निम्न दबाव क्षेत्र और चक्रवाती परिसंचरण के बनने के बाद अगले चार दिनों के लिए ओडिशा के कई जिलों में भारी से बहुत भारी वर्षा की भविष्यवाणी की। आईएमडी भुवनेश्वर केंद्र की निदेशक मनोरमा मोहंती ने कहा कि कम दबाव का क्षेत्र पश्चिम बंगाल के उत्तरी हिस्सों और उसके आस-पास बना है। यह यहां से झारखंड की ओर बढ़ेगा। साथ ही बंगाल की खाड़ी के ऊपर भी एक चक्रवाती परिसंचरण भी बना हुआ है। ऐसे में इन दोनों के प्रभाव से ओडिशा के कई हिस्सों में अगले चार दिनों में भारी से बहुत भारी बारिश होने की संभावना है। आईएमडी केंद्र ने मछुआरों को 25 अगस्त तक ओडिशा तट और बंगाल की खाड़ी के पास समुद्र में न जाने की सलाह दी है।
यूपी में बारिश का अलर्ट
उत्तर प्रदेश के विभिन्न इलाकों में शनिवार को अच्छी बारिश के संकेत हैं। यूपी के विभिन्न इलाकों में शुक्रवार को हल्की से मध्यम बारिश हुई। मौसम विभाग ने अगले दो दिन दक्षिणी और मध्य इलाकों में अच्छी बारिश के आसार जताए हैं। वहीं शनिवार को यूपी के दक्षिणी, बुंदेलखंड और पश्चिम के इलाकों समेत 20 से ज्यादा जिलों के लिए भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया है।मौसम विभाग की ओर से शनिवार के लिए बांदा, चित्रकूट, कौशांबी, प्रयागराज, फतेहपुर, प्रतापगढ़, सोनभद्र, मिर्जापुर, चंदौली, वाराणसी, संत रविदास नगर, श्रावस्ती, बहराइच, जौनपुर, लखीमपुर खीरी, सीतापुर, बाराबंकी, अमेठी, सुल्तानपुर, रायबरेली, मथुरा, आगरा, फिरोजाबाद, पीलीभीत, सहारनपुर, शामली, महोबा, झांसी, ललितपुर व आसपास के इलाकों में भारी बारिश का येलो अलर्ट जारी किया है।
26 अगस्त तक राज्य के कई हिस्सों में बारिश का अनुमान
पश्चिम बंगाल में मौसम करवट बदलने वाला है, मौसम विभाग की तरफ से जारी किए पूर्वानुमान के अनुसार कम दवाब के कारण राज्य के अधिकांश हिस्से में बारिश होगी। मौसम विभाग के अनुसार उत्तर बंगाल के ऊपर कम दबाव का क्षेत्र और सक्रिय मानसून के कारण 26 अगस्त तक पश्चिम बंगाल के अधिकांश हिस्सों में भारी बारिश होगी। मौसम विभाग के अधिकारियों ने कहा कि इस अवधि के दौरान दक्षिण बंगाल के जिलों में सबसे अधिक बारिश होने की उम्मीद है। मौसम विभाग ने अपने पूर्वानुमान में कहा कि अगले एक दिन में झारखंड की ओर बढ़ने वाले कम दबाव वाले सिस्टम के कारण 23 से 26 अगस्त तक दक्षिण और उत्तर 24 परगना, पूर्व और पश्चिम मिदनापुर, बांकुरा, पूर्व और पश्चिम बर्धमान, पुरुलिया और बीरभूम जिले में बहुत भारी बारिश होने का अनुमान है।
उत्तराखंड में बद्रीनाथ, केदारनाथ और यमुनोत्री जाने वाले राष्ट्रीय राजमार्ग अवरुद्ध
उत्तराखंड में भारी बारिश के कारण भूस्खलन की वजह से बद्रीनाथ, केदारनाथ और यमुनोत्री जाने वाले राष्ट्रीय राजमार्ग अवरुद्ध हो गए हैं। टिहरी और चमोली में बादल फटने और अतिवृष्टि के कारण कृषि भूमि और कई मकान क्षतिग्रस्त हो गए।
टिहरी में भिलंगना ब्लॉक के गेंवाली गांव में बादल फटने से आए सैलाब में कई नाली उपजाऊ कृषि भूमि चौपट हो गई। कई घरों में मलबा घुस गया। क्षेत्र में पैदल पुल, बिजली और पानी की लाइनें भी आपदा में ध्वस्त हो गई। हालांकि, लोगों के समय रहते घर छोड़कर सुरक्षित स्थानों पर चले जाने से जनहानि नहीं हुई। चमोली जिले के थराली में प्राणमति नदी उफान पर आई, जिसके चलते पिंडर नदी में संगम के पीछे झील बनने लगी। प्रशासन ने सतर्कता बरतते हुए सभी घर खाली करा दिए।
राजस्थान भी बारिश से रहा बेहाल
राजस्थान में पिछले 24 घंटों के दौरान पाली जिले के कुछ स्थानों पर बहुत भारी बारिश हुई। पाली के रायपुर में सबसे अधिक 122 मिमी बारिश हुई। इसके अलावा टोंक, झुंझुनू, उदयपुर और चित्तौड़गढ़ जिलों में भी कुछ स्थानों पर भारी बारिश दर्ज की गई। मौसम विभाग के मुताबिक, पूर्वी राजस्थान के कई हिस्सों में 28 अगस्त तक भारी बारिश का दौर जारी रहेगा। मौसम विभाग का कहना है कि उत्तरी बंगाल के ऊपर कम दबाव के क्षेत्र और सक्रिय मानसून की वजह से पश्चिम बंगाल के अधिकांश हिस्सों में 26 अगस्त तक भारी बारिश होगी।
त्रिपुरा में 65,000 से ज्यादा लोग विस्थापित
त्रिपुरा में अधिकारियों ने बताया कि विस्थापित 65,400 लोगों को 450 शिविरों में रखा गया है। इसके अलावा बुनियादी ढांचे, फसलों और पशुधन की भी भारी क्षति हुई है। प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, बृहस्पतिवार देर रात को बांग्लादेश में गोमती नदी का तटबंध टूट जाने से कम से कम 15 गांव जलमग्न हो गए। सीएम ने बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया। हेलीकॉप्टरों की मदद से लोगों तक राहत सामग्री पहुंचाई जा रही है।
सीएम ने पीएम मोदी और शाह का जताया आभार
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बताया कि त्रिपुरा में बाढ़ की स्थिति के मद्देनजर सरकार ने प्रभावित लोगों को राहत प्रदान करने के लिए 40 करोड़ रुपये की अग्रिम राशि जारी करने को मंजूरी दी है। केंद्रीय मदद पर राज्य के मुख्यमंत्री माणिक साहा ने पीएम मोदी और गृह मंत्री शाह का आभार जताया है। शाह ने यह भी बताया कि केंद्र की तरफ से एनडीआरएफ की 11 टीमें, सेना की तीन टुकड़ियां और वायुसेना के चार हेलीकॉप्टर पहले से ही भेजे जा चुके हैं।
पूर्वोत्तर परिषद की बैठक स्थगित
इस बीच, अप्रत्याशित परिस्थितियों के कारण पूर्वोत्तर परिषद (एनईसी) के दो दिवसीय पूर्ण सत्र को स्थगित कर दिया गया है। 31 अगस्त को यहां शुरू होने वाली इस बैठक में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया और पूर्वोत्तर राज्यों के राज्यपालों और मुख्यमंत्रियों को हिस्सा लेना था। एनईसी की तरफ से बताया गया कि नई तारीखों की घोषणा बाद में की जाएगी।
टिहरी में बादल फटा
घनसाली (टिहरी)। गेंवाली गांव में बादल फटने से तबाही मच गई। हालांकि ग्रामीणों को अनहोनी की आशंका थी, जिसके चलते वह रतजगा कर रहे थे। ऐसे में समय रहते ग्रामीण सुरक्षित जगहों पर चले गए। अंधेरी रात में बरसाती पानी के साथ आए सैलाब में कई नाली उपजाऊ कृषि भूमि चौपट हो गई। कई लोगों के घरों में मलबा घुस गया। जबकि कई गोशालाएं भी क्षतिग्रस्त हो गई।
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