वॉशिंगटन। भारत लंबे समय से संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में बदलाव की मांग कर रहा है। अब एक बार फिर भारत ने मौजूदा भू-राजनीतिक परिस्थितियों में संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा काउंसिल में बदलाव की मांग की है और कहा है कि मौजूदा परिस्थितियों में जब दुनियाभर में संघर्ष बढ़ रहे हैं, उनमें यूएनएससी पूरी तरह से अपनी जिम्मेदारियों को निभाने में असमर्थ साबित हुआ है।
संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी मिशन के प्रभारी राजदूत आर. रविंद्र ने कहा कि ‘हाल ही में वैश्विक भू-राजनीतिक घटनाओं ने स्पष्ट रूप से दिखाया है कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा की रक्षा करने की अपनी प्राथमिक जिम्मेदारियों को पूरा करने में असमर्थ है। जबकि इस वक्त दुनिया को इसकी सबसे अधिक जरूरत है। 1945 में जब परिषद की स्थापना की गई थी, इसमें बदलाव की जरूरत हर जगह महसूस की जा रही है।
हम आश्वस्त हैं कि स्थायी और गैर-स्थायी दोनों श्रेणियों में अफ्रीकी प्रतिनिधित्व अनिवार्य रूप से होना चाहिए। हम जी4 देशों के सदस्य के रूप में, अफ्रीका के लोगों की इन वैध मांगों और आकांक्षाओं का पूरी तरह से समर्थन करना जारी रखते हैं। अफ्रीका के साथ जी4 का संबंध विश्वास और आपसी सम्मान पर आधारित है और यह सुनिश्चित करने पर केंद्रित है कि अफ्रीका को सुधारित बहुपक्षवाद के नए युग में अपना सही स्थान मिले।’
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