रियाद: दुनिया (World) के शीर्ष पेट्रोलियम उत्पादक देश सऊदी अरब (Saudi Arabia is a petroleum producing country) को घरेलू मोर्चे पर तेल की कमी से जूझना पड़ रहा है, जिसके बाद उसे आयात (import) के लिए मजबूर होना पड़ा है। देश में गर्मियों में बिजली की भारी मांग को पूरा करने के लिए रियाद ने जुलाई में कुवैत से ईंधन तेल का आयात किया है। सऊदी अरब को रूस (Russia) से रियायती ईंधन आपूर्ति में कमी का सामना करना पड़ रहा है, जिसके चलते उसे तेल के लिए कुवैत (Kuwait) का रुख करना पड़ा है। इसके पहले साल 2022 में उसने कुवैत से तेल का आयात किया था। रॉयटर्स ने अपनी रिपोर्ट में बताया है कि सऊदी अरब ने जुलाई में कुवैत से 180,000 मीट्रिक टन से ज्यादा हाई सल्फर ईंधन तेल का आयात किया, जो मई 2022 के बाद से इस तरह की पहली खरीद है।
रूसी तेल आ रहा भारत
इस बदलाव का एक कारण रूसी ईंधन तेल की उपलब्धता में कमी है, जो पिछले साल जुलाई में 750,000 टन से घटकर जुलाई में लगभग 441,000 टन रह गई है। हालांकि, अभी भी सऊदी अरब के कुल ईंधन आयात में रूस की आपूर्ति लगभग 30 प्रतिशत है। रूसी तेल को खरीदने के लिए प्रतिस्पर्धा तेज हो गई है। खासतौर पर भारत और चीन जैसे खरीदार भी रूसी तेल को मंगा रहे हैं, जिससे सऊदी अरब को कुवैत जैसे विकल्पों की तरफ देखना पड़ रहा है। रूस बड़ी मात्रा में अपने दोस्त भारत को तेल भेज रहा है, जिसके चलते सऊदी अरब को रूसी निर्यात कम हुआ है।
अगस्त में भी जारी रहेगी आपूर्ति
रियाद के लिए कुवैती तेल की आपूर्ति अगस्त में भी जारी रहने की संभावना है, क्योंकि सऊदी अरब की अरामको ट्रेडिंग ने कुवैत की अल जौर रिफाइनरी से 130,000 टन अत्यधिक निम्न सल्फर ईंधन तेल (VLSFO) के लिए हाल ही में एक बोली में जीत हासिल की है। रॉयटर्स ने सूत्रों के हवाले से कहा है कि 11-12 अगस्त को लोड होने वाला कार्गो, सिंगापुर वीएलएसएफओ कोटेशन के मुकाबले लगभग 8 डॉलर की छूट पर कुवैत के फ्री-ऑन बोर्ड के आधार पर कारोबार कर रहा था।
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ईंधन की आपूर्ति करके सऊदी अरब न सिर्फ घरेलू मांग को पूरा कर रहा है, बल्कि इससे उसको फायदा भी हो रहा है। सऊदी अरब ने गर्मियों की मांग को पूरा करने के लिए जून 2023 रिकॉर्ड मात्रा में छूट वाले रूसी ईंधन तेल का आयात किया, जबकि अपने स्वयं के उत्पादन को ऊंची कीमतों पर निर्यात किया। लेकिन अब रूसी तेल की सप्लाई कम होने से सऊदी अरब को कुवैत से आयात के लिए मजबूर होना पड़ा है।
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