कवर्धा । छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Former Chief Minister of Chhattisgadh Bhupesh Baghel) ने ग्राम सोनवाही में (In village Sonwahi) डायरिया से पीड़ित मृतकों के परिवारजनों से (Families of the Deceased suffering from Diarrhea) मुलाकात की (Met) । इस दौरान बघेल ने जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग पर गंभीर आरोप लगाए और मृतकों के परिवारों को 4-4 लाख रुपये आर्थिक सहायता देने की मांग की । कबीरधाम जिले में एक माह के भीतर डायरिया के प्रकोप के चलते पांच लोगों की मौत हो चुकी है।
भूपेश बघेल तेज बारिश के बीच कबीरधाम जिले के बोड़ला ब्लॉक के विशेष पिछड़ी जनजाति बैगा बाहुल्य क्षेत्र ग्राम सोनवाही पहुंचे, यहां उन्होंने 10 जुलाई को दो लोगों की डायरिया से मृत्यु होने पर मृतक के परिजनों से बातचीत की। इस दौरान पूर्व मुख्यमंत्री को परिजनों ने बताया कि 10 जुलाई को उल्टी व दस्त के चलते अचानक रात्रि 12 बजे तबीयत खराब हुई और दो बजे मौत हो गई।
भूपेश बघेल ने ग्राम झलमला स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का जायजा भी लिया और जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए मौताें के लिए स्वास्थ्य विभाग को जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग में सुविधाओं का जायजा लेते हुए कहा कि मरीजों का इलाज भी नही हो पा रहा है। डॉक्टरों की कमी के चलते स्वास्थ्य व्यवस्था पूरी लचर हो चुकी है। उन्होंने गांव में पीड़ित परिजनों को स्वास्थ्य विभाग द्वारा दी जाने वाली सहायता पर भी सवाल उठाए।
उन्होंने कहा कि जिन लोगों के घर पर मृत्यु हुई, उनको केवल एक-एक मच्छरदानी दी गई है, जबकि उनके घर में पांच सदस्य हैं। इन लोगों को सरकार की ओर से कोई मुआवजा भी नहीं दिया जा रहा है। अस्पताल में पर्याप्त दवाएं और स्टाफ होना चाहिए। अभी तक करीब 25 लोग मलेरिया संक्रमित पाए गए हैं। लगातार उल्टी-दस्त की शिकायत मिल रही है। इसके बावजूद सरकार नहीं जाग रही है, इससे लोगों में आक्रोश है। इस दौरान भूपेश बघेल ने कई परिवारों से मुलाकात की और उनका हालचाल जाना।
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