लक्ष्मीबाई नगर, आयलैंड प्लेटफॉर्म और महू से चलेंगी ट्रेनें, चरणबद्ध तरीके से होंगे काम
इंदौर। शहर के मुख्य रेलवे स्टेशन (main railway station) को रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट (Redevelopment Project) के कारण दो से ढाई साल तक के लिए बंद करना पड़ेगा। शुरुआत में इक्का-दुक्का प्लेटफॉर्म (Platform) बंद किए जाएंगे, वहीं कुछ प्लेटफॉर्म से ट्रेनों का संचालन होता रहेगा। काम जब गति पकड़ेगा, तो स्टेशन बंद करना पड़ेगा। इस दौरान इंदौर की तमाम ट्रेनें लक्ष्मीबाई नगर, आयलैंड प्लेटफॉर्म और महू स्टेशनों से चलेंगी और टर्मिनेट होंगी।
पश्चिम रेलवे के निर्माण विभाग ने काम की शुरुआती रूपरेखा इसी तरह बनाई है। अभी रेलवे ने रिडेवलपमेंट के टेंडर नहीं निकाले हैं, लेकिन माना जा रहा है कि मानसून सीजन के बाद यह काम शुरू किया जाएगा। तब तक रेलवे टेंडर निकालकर कंपनियों से उनके आफर मांगेगा और न्यूनतम दरों में काम करने वाली कंपनी का चयन कर लेगा। मार्च तक महू स्टेशन पर बड़ी लाइन के दो नए प्लेटफॉर्म बनकर तैयार हो जाएंगे, इसलिए इंदौर से चलने वाली कुछ और ट्रेनों का विस्तार रतलाम मंडल वहां तक कर देगा। इसी तरह लक्ष्मीबाई नगर स्टेशन पर छह-सात महीने में दो नए प्लेटफॉर्म बन जाएंगे। तब वहां से और ट्रेनें चलाने की जगह मिल जाएगी। आयलैंड प्लेटफॉर्म (पांच और छह नंबर प्लेटफॉर्म) तो हैं ही। इस तरह कुल 11 प्लेटफॉर्म ट्रेनों के संचालन के लिए 2024 में उपलब्ध हो जाएंगे।
हर हिस्सा टूटेगा, भूमिगत पार्किंग होगी बड़ी सुविधा
रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट के तहत इंदौर स्टेशन का हर हिस्सा पूरी तरह तोड़ा जाएगा। उसके बाद नए सिरे से नई आधुनिक बिल्डिंग बनाने का काम होगा। कम जगह के कारण स्टेशन पर बनने वाली भूमिगत पार्किंग का प्लान खासतौर पर बनाया गया है। सूत्रों ने बताया कि माना जा रहा है कि लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लगने से पहले फरवरी या मार्च में काम के टेंडर बुला लिए जाएं।
तेजी से काम करने के लिए स्टेशन बंद करना जरूरी
आधिकारिक सूत्रों का कहना है कि यदि इंदौर स्टेशन के रिडेवलपमेंट का काम स्टेशन को चालू रखते हुए किया जाएगा, तो न केवल यात्रियों को तकलीफ होगी, बल्कि काम में अपेक्षित गति नहीं मिल सकेगी। शुरुआत में कुछ प्लेटफॉर्म जरूर चालू रखे जाएंगे, लेकिन काम बढऩे के साथ मुख्य स्टेशन के चारों प्लेटफॉर्म बंद होंगे।
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