भोपाल (Bhopal)। मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Former Chief Minister of Shivraj Singh Chauhan), भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा (BJP State President VD Sharma ) और पूर्व मंत्री और भाजपा विधायक भूपेन्द्र सिंह (BJP MLA Bhupendra Singh) के खिलाफ मानहानि का मुकदमा (defamation case) दर्ज हुआ है। 10 करोड़ की आपराधिक मानहानि मामले में जबलपुर की एमपी-एमएलए कोर्ट में शनिवार को यह केस दर्ज किया गया है।
मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा और पूर्व कैबिनेट मंत्री भूपेंद्र सिंह के खिलाफ मानहानि का मुकदमा दर्ज किए जाने की मांग करते हुए कांग्रेस के राज्यसभा सदस्य वरिष्ठ अधिवक्ता विवेक कृष्ण तन्खा ने जिला न्यायालय में परिवाद दायर किया था। उन्होंने इन तीनों के विरुद्ध 10 करोड़ रुपये की मानहानि का दावा पेश किया है। एमपी-एमएलए की विशेष कोर्ट ने बयान दर्ज होने के बाद मानहानि की धारा-500 के तहत आपराधिक मानहानि का मुकदमा चलाने की मांग स्वीकार कर ली। एमपी एमएलए कोर्ट की विशेष न्यायाधीश विश्वेवरी मिश्रा ने प्रकरण की सुनवाई करते हुए प्रथम दृष्टया तीनों को दोषी मानते हुए प्रकरण दर्ज करने के निर्देश जारी किए हैं।
गौरतलब है कि सर्वोच्च न्यायालय में पंचायत और निकाय चुनाव से संबंधित याचिका की सुनवाई के दौरान राज्यसभा सांसद तन्खा पैरवी के लिए उपस्थित हुए थे। सर्वोच्च न्यायालय द्वारा ओबीसी आरक्षण पर रोक लगाए जाने के कारण तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा तथा भूपेंद्न सिंह ने सांसद विवेक तन्खा के खिलाफ बयानबाजी की थी। तन्खा ने तीनों को 10 करोड़ की मानहानि का नोटिस जारी किया था। नोटिस का कोई जवाब नहीं आने पर उन्होंने छह जनवरी 2023 को जिला न्यायालय में परिवाद दायर किया था। परिवाद की सुनवाई के दौरान 29 अप्रैल 2023 को उन्होंने न्यायालय के समक्ष अपने बयान दर्ज करवाये थे।
अदालत में तन्खा ने अपने बयान में कहा कि उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में ओबीसी आरक्षण से संबंधित कोई बात नहीं कही थी। उन्होंने मध्यप्रदेश में पंचायत और निकाय चुनाव मामले में परिसीमन और रोटेशन की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट में पैरवी की थी। लेकिन जब सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव में ओबीसी आरक्षण पर रोक लगा दी थी तो भाजपा नेताओं ने साजिश करते हुए इसे गलत ढंग से पेश किया। तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, वीडी शर्मा और भूपेन्द्र सिंह ने गलत बयान देकर ओबीसी आरक्षण पर रोक का ठीकरा उनके सिर फोड़ दिया। उन्होंने मेरी छवि धूमिल करके आपराधिक मानहानि की है।
पूर्व एडवोकेट जनरल शशांक शेखर ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट ने त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में ओबीसी के लिए आरक्षित सीटों को लेकर फैसला दिया था। इस फैसले के बाद शिवराज सिंह, वीडी शर्मा और भूपेंद्र सिंह ने विवेक तन्खा के खिलाफ आपत्तिजनक और गलत टिप्पणियां की और उनकी छवि खराब करने की कोशिश की। इसी को लेकर विवेक तन्खा ने तीनों के खिलाफ जिला अदालत जबलपुर में 10 करोड़ रुपये की मानहानि का मुकदमा दायर किया था। मामले की सुनवाई के दौरान आवेदक तथा अन्य के बयान दर्ज किये गये थे। एमपी-एमएलए की विशेष कोर्ट की न्यायाधीश विश्वेश्वरी मिश्रा ने पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा व पूर्व मंत्री भूपेंद्र सिंह के विरुद्ध मानहानि का मुकदमा दर्ज करने की व्यवस्था दे दी है।
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