इंदौर। आचार संहिता के चलते नगर निगम में एमआईसी मेंबरों के साथ-साथ सभापति के कक्षों पर ताले लगा दिए गए थे। अब आचार संहिता आने वाले कुछ दिनों में समाप्त होना है। इसके चलते वहां साफ-सफाई का अभियान भी एक-दो दिनों में शुरू किया जाएगा। कई दिनों से एमआईसी मेंबर निगम में नहीं आ रहे हैं और उन्होंने वाहन से लेकर वायरलेस भी जमा करा रखे हैं।
आचार संहिता के चलते महापौर पुष्यमित्र भार्गव से लेकर सभापति और सभी एमआईसी मेंबरों ने निगम के कामकाज से दूरी बना ली थी। हालांकि वार्डों के मामलों पर वे निगाह रखे हुए हैं। नियमों के चलते सभी एमआईसी मेंबरों को आवंटित कक्षों में आचार संहिता के कारण ताले लगा दिए गए थे। वहीं सभापति मुन्नालाल यादव के कक्ष पर भी ताला लगा है। पिछले कई दिनों से बंद पड़े कक्षों की हालत खस्ता हो गई है और वहां अधिकारियों के निर्देश पर आसपास के हिस्सों में दो-चार दिनों में सफाई की जाएगी। आने वाले दिनों में आचार संहिता हटते ही कक्षों के ताले खोल दिए जाएंगे और साथ ही सभी एमआईसी मेंबरों को वाहन से लेकर वायरलेस भी फिर से आवंटित किए जाएंगे।
नगर निगम भी था अफसरों के भरोसे… अब जनप्रतिनिधियों की भी सुनवाई शुरू होगी
आचार संहिता के चलते पिछले कई दिनों से नगर निगम में अफसरों का आदेश चल रहा था, लेकिन अब आने वाले दिनों में फिर जनप्रतिनिधियों का दरबार लगने लगेगा। शहर के कई वार्डों में विकास कार्यों से लेकर सफाई व्यवस्था, ड्रेनेज लाइन, बंद पड़ी स्ट्रीट लाइटें, गंदे पानी की समस्याएं और अवैध निर्माण के साथ-साथ अतिक्रमणों की शिकायतें भी होती रही हैं। फिलहाल वार्ड के पार्षदों को रहवासियों द्वारा शिकायतें की जा रही थीं, लेकिन आचार संहिता के चलते अफसरों को पार्षद, एमआईसी मेंबर सीधे आदेश नहीं दे पा रहे थे। वहीं दूसरी ओर नगर निगम में हर मंगलवार होने वाली जनसुनवाई भी बंद होने के चलते लोग अपनी समस्याओं का निराकरण कराने के लिए परेशान होते रहे। कई अफसरों के कार्यालयों पर सुबह से लेकर शाम तक लोग अपनी समस्या हल कराने के लिए चक्कर लगाते रहते हैं।
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