8 नए मरीजों के साथ कुल 434, चिकनगुनिया का भी प्रकोप, निगम की भी खुली नींद, धुआं मशीनें निकालीं
इंदौर। अभी लगातार डेंगू (Dengue) के मरीज मिल रहे हैं। बीते 2 दिनों में 8 मरीजों के साथ कुल आंकड़ा 434 मरीजों का हो गया, जो कि प्रदेश में सर्वाधिक है। मलेरिया के अलावा चिकनगुनिया के भी मरीज मिल रहे हैं। दूसरी तरफ स्वास्थ्य विभाग का दावा है कि 65 हजार घरों में सर्वे किया और 1200 से अधिक घरों में लार्वा मिलने पर नोटिस तो थमाए ही, दूसरी तरफ नगर निगम की भी नींद खुली और फॉगिंग यानी धुआं मशीनें निकालकर कई क्षेत्रों में भिजवाई और कीटनाशक दवाइयों का छिडक़ाव भी करवाया। दूसरी तरफ ग्रामीण क्षेत्रों में घरों का सर्वे कराया जा रहा है और मलेरिया की टीम लार्वानाशक दवाइयों के छिडक़ाव में जुटी है। आशा कार्यकर्ताओं के माध्यम से घरों का यह सर्वे चल रहा है और बुखार के मरीज मिलने पर स्वास्थ्य केन्द्रों पर उनके उपचार की व्यवस्था भी की जा रही है।
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी इन्दौर डॉ. बी.एस. सैत्या (Chief Medical and Health Officer Indore Dr. B.S. satya), ढ्ढष्ठस्क्क नोडल डॉ. अमित मालाकार, शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. संजय सिमलोट, जिला मलेरिया अधिकारी श्री दौलत पटेल द्वारा देपालपुर ब्लॉक के ग्राम चांदेर एवं निकटस्थ ग्रामों में बुखार की सूचना मिलने पर सघन निरीक्षण किया गया। यह देखा गया है कि भारी वर्षा के बाद जल जमाव की स्थितियां होती है, ऐसी स्थिति में मलेरिया, डेंगू का प्रकोप बढ़ जाता है। डेंगू बीमारी एडीज नामक मच्छर के काटने से होती है। यह मच्छर साफ पानी से भरे टैक, टायर, सीमेन्ट की टंकियों, मटके, बाल्टीयों, कूलर, छत पर रखे अनुपयोगी सामान, टूटे-फूटे बर्तन, पानी से भरे पॉलीथिन में अपने अण्डे देता है, साथ ही साथ सीधे रखे खाली गमले, मटके एवं अन्य पानी से भरे बर्तन व सामान, कबाडिय़ों द्वारा खुले में रखे गए सामान, पशुओं को पानी पिलाने के लिए रख गए हौज में भी एडीज के लार्वा पाए जाते हैं, जिसे आम जनता इसे पानी के कीड़े समझती है। कहा गया है कि इन्हें नष्ट करें, पानी को जमा न होने दें, उपयोग करने के पानी को अच्छी तरह से ढक कर रखें तथा उनमें एक छोटी चम्मच मीठा तेल डाले, बाहर गड्?ढों तथा नालियों में जला हुआ तेल डाले। यह मच्छर दिन के समय काटता है, अत: पूरी आस्तिन के कपड़े पहने, रात के समय मच्छरदानी का प्रयोग करें, घर में नीम की पत्तियों का धुंआ करें, मच्छर रोधी क्रीम व अगरबत्ती का प्रयोग करें। मलेरिया टीम पिछले 15 दिवस से लगातार लार्वा विनिष्टिकरण का कार्य कर रही है, आशा कार्यकर्ता द्वारा घर-घर सर्वे किया जा रहा है और बुखार आने पर स्वास्थ्य केन्द्र से उपचार की प्रक्रिया भी निरंतर जारी है। ग्राम पंचायत के सदस्यों, वरिष्ठजनों तथा अन्य सहयोगियों के साथ चर्चा की गई। इसी क्रम में चांदेर में 498 घरों का सर्वे किया गया, जिसमें से 12 घरों में लार्वा पाया गया। आरोदाकोट में 118 घरों का सर्वे किया गया, जिसमें से 03 घरों में लार्वा पाया गया। सगड़ोद में 118 घरों का सर्वे कर 08 घरों में लार्वा पाया गया तथा कलमेर में 198 घरों का सर्वे कर 06 घरों में लार्वा पाया गया। डेंगू के प्रकोप से बचने के लिए लार्वा तथा मच्छरों को नष्ट करने की कार्यवाही विभाग द्वारा सतत की जा रही है। आमजन से आग्रह किया गया है कि सप्ताह में एक बार घर में जल जमाव वाली जगहों का निरीक्षण कर जल निकासी करें।
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