नई दिल्ली (New Delhi)। आम आदमी पार्टी के मंत्रियों से लेकर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (Chief Minister Arvind Kejriwal) तक की मुसीबत बढ़ती जा रही है। प्रवर्तन निदेशालय (ED) के सामने पेशी से पहले उनके मंत्री राज कुमार आनंद के घर पर छापेमारी शुरू हो गई है। गुरुवार सुबह राजकुमार आनंद के सरकारी आवास समेत 9 ठिकानों पर ईडी की टीम पहुंची और तलाशी की शुरुआत की। सूत्रों के मुताबिक, चीन से हवाला के जरिए आए पैसे को लेकर यह छापेमारी की गई है।
राज कुमार आनंद दिल्ली सरकार के समाज कल्याण मंत्री हैं। उनके पास श्रम रोजगार, एससी और एसटी, गुरुद्वारा चुनाव, सहकारी समितियों का कामकाज भी है। वह पटेल नगर से विधायक हैं। पिछले साल गुजरात चुनाव के दौरान एक धार्मिक टिप्पणी को लेकर राजेंद्र पाल गौतम को केजरीवाल कैबिनेट से इस्तीफा देना पड़ा था। इसके बाद राजकुमार को मंत्री बनाया गया। राज कुमार आनंद के सिविल लाइंस इलाके स्थित आवास समेत कई ठिकानों पर ईडी की टीम पहुंची।आवास और अन्य ठिकानों के बाहर अर्धसैनिक बलों के अधिकारी तैनात रहे।
केजरीवाल सरकार के मंत्री और आप के प्रवक्ता सौरभ भारद्वाज ने छापेमारी पर कहा कि राजकुमार आनंद का दोष है कि वह आम आदमी पार्टी के विधायक और केजरीवाल के मंत्री हैं। अंग्रेजों के जमाने में भी छापेमारी से पहले वारंट कोर्ट से लेना पड़ता था। लेकिन ईडी को इसकी जरूरत नहीं। ईडी के अफसर ही तय करते हैं कि किसके यहां छापेमारी करनी है। सिर्फ विपक्षी नेताओं को निशाना बनाया जा रहा है। ईडी बीजेपी नेताओं के खिलाफ छापेमारी क्यों नहीं करती है।
आम आदमी पार्टी इन आरोपों को खारिज करती रही है। आम आदमी पार्टी और दिल्ली सरकार का दावा है कि केंद्र सरकार उनके नेताओं को फर्जी केस में फंसाकर पार्टी और सरकार को खत्म करने की कोशिश कर रही है। आप ने यह भी आशंका जताई है कि मुख्यमंत्री केजरीवाल को गिरफ्तार किया जा सकता है।वहीं, भाजपा अरविंद केजरीवाल समेत तमाम नेताओं के भ्रष्टाचार में शामिल होने का आरोप लगाती रही है।
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