देशभर के संतों का भी समर्थन, पर्यूषण पर्व पर 19 दिन तक करेंगे विरोध, मुख्यमंत्री के घेराव की भी दी चेतावनी
इंदौर। गोम्मटगिरि (gommatgiri) में अवैध कब्जे और बाउण्ड्रीवॉल (boundary wall) ना बनाने देने का मामला गरमाता जा रहा है। कल जैन समाज के 150 मंदिरों के अध्यक्ष और पदाधिकारियों की बैठक हुई, जिसमें शासन के असहयोग रवैये को लेकर नाराजगी जाहिर की गई और तय किया कि इस बार गोम्मटगिरि रक्षा पर्यूषण पर्व महोत्सव के रूप में 19 दिनों तक शहर के सभी जिनालयों और मंदिरों में मनाया जाएगा और मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chauhan) के इंदौर आगमन पर समाज उनका घेराव भी करेगा और पर्यूषण पर्व के बाद विशाल विरोध रैली निकाली जाएगी।
भगवान बाहुबली दिगम्बर जैन ट्रस्ट के अध्यक्ष भरत मोदी ने बैठक में जैन तीर्थ क्षेत्र के लिए शासन द्वारा दी गई जमीन का ब्योरा दिया, साथ ही कहा कि ट्रस्ट को अपनी ही जमीन पर बाउण्ड्रीवॉल और मेन गेट बनाने में अडंगे डाले जा रहे हैं। दरअसल कुछ समय पूर्व गुर्जर समाज के लोगों ने एक मंदिर बना लिया और बाउण्ड्रीवॉल को तोडक़र मंदिर में जाने का रास्ता देने के लिए ट्रस्ट पर दबाव बनाया गया। बैठक में शामिल नरेन्द्र वैध, कमल सेठी, सुरेन्द्र बाकलीवाल, डीके जैन, प्रीतपाल टोंग्या, नकुल पाटोदी, प्रदीप बडज़ात्या, होलास सोनी, पवन जैन, विजय कासलीवाल, महावीर जैन, नीलेश सेठी, स्वप्नील जैन, ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष राजेन्द्र गंगवाल, मनीष अजमेरा सहित अन्य ने शासन-प्रशासन को भी कठघरे में खड़ा किया और कहा कि उच्च न्यायालय के आदेशों की भी अवहेलना की जा रही है और राजनीतिक संरक्षण के चलते अवैधानिक कब्जे कराए जा रहे हैं, जिसके चलते समग्र जैन समाज आक्रोशित है और 150 मंदिरों के पदाधिकारियों के साथ-साथ देशभर के संतों का भी समर्थन मिल रहा है। बैठक में यह भी तय किया गया कि श्वेताम्बर एवं दिगम्बर जैन समाज के पर्यषण पर्व इस वर्ष गोम्मटगिरी रक्षा पर्यूषण पर्व महोत्सव के रूप में मनाए जाएंगे और 19 दिनों तक शहर के सभी जिनालयों और मंदिरों में इसका विरोध भी किया जाएगा और समाज चरणबद्ध आंदोलन करेगा, जिसमें मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान के नगर आगमन पर उनका घेराव करना भी शामिल है। इतना ही नहीं, पर्यूषण पर्व के बाद विशाल रैली भी निकाली जाएगी। मोदी ने यह भी बताया कि सन 1981 में तत्कालीन शासन द्वारा 12.49 एकड़ और सन् 1983 मे 53.11एकड इस प्रकार कुल 65.60 एकड भूमि जमीन लिज पर दी गई। उच्च न्यायालय, इंदौर द्वारा आदेशित किया गया था कि गोम्मटगिरि जैन तीर्थ क्षेत्र के लिए दी गई लीज डिड को रजिस्टर्ड करवाए और लीज नवीनीकरण की प्रक्रिया भी पूरी करें साथ ही गोमटगिरी ट्रस्ट को पर्याप्त पुलिस प्रोटेक्शन दिलाने की बात भी कही ताकि गोम्मटगिरि ट्रस्ट अपनी भूमि की बाउंड्री वॉल एवं मेन गेट बनवा सके।
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