नई दिल्ली। दिल्ली महिला आयोग (DCW) की प्रमुख स्वाति मालीवाल ने सोमवार को उन दो महिलाओं के परिवार के सदस्यों से मुलाकात की है जिन्हें मणिपुर में नग्न घुमाया गया था और यौन उत्पीड़न किया गया था। इस मामले का एक वीडियो वायरल हो गया था जिससे पूरे देश में आक्रोश और विरोध प्रदर्शन देखा गया।
अभी तक इस मामले में कुछ आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। दिल्ली महिला आयोग (DCW) की एक टीम ने मणिपुर का दौरा किया है, स्वाति मलिवाल के साथ डीसीडब्ल्यू सदस्य वंदना सिंह भी इस दौरे में शामिल रही हैं। स्वाति मालीवाल ने एक महिला की मां और दूसरे के पति से मुलाकात की है।
दौरे के बाद क्या बोलीं स्वाति मालीवाल
स्वाती मालीवाल ने एक ट्वीट कर कहा कि पीड़ित गहरे सदमे में हैं और उस वक्त को भूल नहीं पा रही हैं। DSW की ओर से एक बयान जारी कर लिखा गया है कि लड़कियों के परिवार को सरकार ने किसी तरह की मदद मुहैया नहीं कराई ही।
“परिवारों ने दावा किया कि आज तक न तो मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह और न ही किसी कैबिनेट मंत्री या राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारी ने उनसे मुलाकात की है। स्वाती मालीवाल किसी भी सरकार (राज्य सरकार) की ओर उनके पास पहुंची पहली अधिकारी थीं।” ऐसे DSW के बयान में लिखा गया है।
इस बयान में आगे लिखा गया है कि पीड़ित लड़कियों के परिवार इस बात से नाराज थे कि उनके मामले में किसी भी पुलिस अधिकारी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई है। बयान में कहा गया है कि स्वाति मालीवाल ने दोनों से विस्तार से बात की और उन्हें आश्वासन दिया कि वे अकेले नहीं हैं और जरूरत की घड़ी में पूरा देश उनके साथ है। डीसीडब्ल्यू प्रमुख ने मोइरांग, चुराचांदपुर और इंफाल में राहत शिविरों का भी दौरा किया है।
सरकार पर लगाया आरोप
DSW चीफ मालीवाल ने यह भी आरोप लगाया है कि उन्हें मणिपुर में प्रवेश के लिए कोई सरकारी सहायता नहीं मिली है। उन्होने कहा, “वायरल वीडियो ने मुझे अंदर तक झकझोर दिया और मैं हर कीमत पर उन लोगों से मिलना चाहती थी। मुझे स्थानीय लोगों ने बताया कि यह बहुत मुश्किल है…फिर भी मैंने भारी गोलीबारी के बीच बिना किसी सुरक्षा के वहां जाने का फैसला किया। किसी तरह, मैं उनसे मिलने में कामयाब रही।”
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