नई दिल्ली (New Delhi)। आईसीसी वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप ( ICC World Test Championship) डब्ल्यूटीसी फाइनल (WTC Final) में रविवार को ऑस्ट्रेलिया (Australia) के हाथों मिली 209 रन की विशाल हार के बाद भारतीय टीम (Indian team) के कोच राहुल द्रविड़ (coach Rahul Dravid) ने पहली पारी में गेंदबाजी की गलतियों को स्वीकार किया। द्रविड़ ने मैच के बाद कहा, “यह 469 रन वाली पिच नहीं थी। (पहले दिन) आखिरी सत्र में हमने बहुत ज्यादा रन दिए। हमें पता था कि कैसी गेंदबाजी करनी है। हमारी लेंथ खराब नहीं थी लेकिन हमने शायद बल्लेबाजों को हाथ खोलने की जगह दी, खासकर ट्रेविस हेड को। कुछ शॉट जो हमने खेले, शायद हम और सावधान हो सकते थे।”
बल्लेबाजों से ज्यादा इस मुकाबले में भारत की गेंदबाजी निराशाजनक रही। टॉस जीतकर गेंदबाजी करते हुए भारत ने पहले सत्र में अच्छी शुरुआत की, लेकिन इसके बाद ट्रैविस हेड और स्टीव स्मिथ शतक जड़कर मैच को भारत की पकड़ से दूर ले गए। दूसरी पारी में भारतीय गेंदबाज ऑस्ट्रेलिया के 10 विकेट भी नहीं चटका सके और ऑस्ट्रेलिया ने संतोषजनक बढ़त लेने के बाद 270/8 के स्कोर पर पारी घोषित की।
द्रविड़ ने कहा, “विकेट पर काफी घास थी और बादल छाए हुए थे (इसलिए गेंदबाजी का फैसला किया।) हमने देखा है कि इंग्लैंड में बल्लेबाजी आसान हो जाती है। अगर आपने देखा हो तो चौथे या पांचवें दिन (गेंदबाजों को) ज्यादा मदद नहीं मिली। हमने उनके शुरुआती तीन विकेट 70 रन पर गिरा दिए, लेकिन फिर मैच को हाथ से निकलने दिया।” इस हार के साथ आईसीसी ट्रॉफी जीतने का भारत का सपना एक बार फिर अधूरा रह गया। भारत ने 2013 में इंग्लैंड में आयोजित चैंपियन्स ट्रॉफी जीती थी। पिछले 10 सालों में कई बार सेमीफाइनल और फाइनल में पहुंचने का बावजूद भारत खिताब नहीं जीत पा रहा है।
द्रविड़ का कहना है कि भारत अच्छा प्रदर्शन कर रहा है, लेकिन नॉकआउट मुकाबलों में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन नहीं कर पा रहा। द्रविड़ ने ट्रॉफी के सूखे पर कहा, “हम (ट्रॉफी जीतने के) करीब आ रहे हैं। हम सेमीफाइनल और फाइनल में पहुंच रहे हैं, बस इतना है कि हम उस दिन सर्वश्रेष्ठ क्रिकेट नहीं खेल पा रहे। खिलाड़ियों से ज्यादा इसे कोई नहीं चाहता। उनके प्रयासों को दोष नहीं दे सकते। इस मौके पर हमने अपना सर्वश्रेष्ठ क्रिकेट नहीं खेला।”
द्रविड़ ने डब्ल्यूटीसी की तैयारियों पर कहा, “कोच के रूप में तैयारी से कभी भी खुश नहीं होंगे लेकिन यह वह वास्तविकता है जिसका हम सामना कर रहे हैं। तीन हफ्ते पहले यहां आकर अभ्यास मैच खेलना आदर्श होता, लेकिन हमें वह करना होगा जो हम कर सकते हैं। मुझे नहीं लगता कि बहाने बनाना सही होगा।”
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