भोपाल (Bhopal)। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chouhan) ने कहा कि लाड़ली बहना योजना (Ladli Behna Scheme) गरीब बहनों की जिन्दगी बदलने (change the life of poor sisters) वाली योजना है। योजना के माध्यम से प्रतिमाह बहनों के बैंक खाते में एक हजार रुपये की राशि आ जाने से बहनें आर्थिक रूप से सशक्त (financially sound) होंगी और समाज में बहनों का मान-सम्मान भी बढ़ेगा। मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना से महिलाओं के चेहरे पर खुशी देखकर मैं मानता हूँ कि मेरी जिन्दगी सफल हो गई है।
मुख्यमंत्री चौहान गुरुवार को मंडला जिले के निवास क्षेत्र के जेवरा (देवरीकला) में मुख्यमंत्री लाड़ली बहना महासम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में उपस्थित बहनों के प्रति आभार व्यक्त करते हुए मुख्यमंत्री पर पुष्प वर्षा की। इस मौके पर राज्यपाल मंगुभाई पटेल भी मौजूद रहे।
मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय इस्पात एवं ग्रामीण विकास राज्य मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते की मांग पर नारायणगंज में जुलाई माह से महाविद्यालय प्रारंभ करने, मनेरी औद्योगिक क्षेत्र का विकास करने तथा निवास में अस्पताल का उन्नयन करने की घोषणा की। मुख्यमंत्री ने किसी किसान के खेत को नुकसान पहुँचाये बिना 4 लिफ्ट एरिगेशन के माध्यम से नर्मदा नदी के पानी को किसानों के खेत तक पहुँचाने की परियोजना बनाने की बात कही।
लाड़ली बहना सेना बनेगी
मुख्यमंत्री ने महिलाओं से अपील की कि सभी बहनें 30 अप्रैल तक अनिवार्य रूप से अपने आवेदन कर लें, ताकि हर पात्र बहन को लाड़ली बहना योजना का लाभ मिल सके। मई माह में प्राप्त आवेदनों की जांच तथा दावे-आपत्ति प्राप्त करने के उपरांत पात्र बहनों के खाते में 10 जून से प्रतिमाह एक हजार रुपये की राशि आने लगेगी। उन्होंने कहा कि प्रत्येक गाँव में 11-11 बहनों की लाड़ली बहना सेना का गठन किया जाए, जो योजनाओं के क्रियान्वयन के साथ-साथ सामाजिक कुरूतियों के विरूद्ध आवाज उठाएगी।
उन्होंने कहा कि गरीबी के कुचक्र से निकलने के लिए सभी बहनें योजना में प्राप्त राशि से प्रतिमाह कुछ न कुछ बचत अवश्य करें। उन्होंने उपस्थित महिलाओं से आजीविका मिशन के अंतर्गत स्व-सहायता समूहों से जुड़ने एवं आर्थिक गतिविधियों में सहभागी बनकर अच्छी आय अर्जित करने की बात कही। मुख्यमंत्री ने बताया कि प्रदेश में नशे की प्रवृत्ति को समाप्त करने के लिए 1 अप्रैल 2023 से सभी शराब-अहाते बंद कर दिए गए हैं। मध्यप्रदेश की धरती में बेटियों से दुराचार करने वालों के लिए फाँसी की सजा का प्रावधान किया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मैंने समाज में हमेशा बेटा और बेटी में भेदभाव होते देखा है, इसलिए मुख्यमंत्री बनने के बाद सर्वप्रथम मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना बनाई जिससे कन्या के विवाह का खर्च माता-पिता के बजाय सरकार द्वारा किया जाने लगा है। लाड़ली लक्ष्मी योजना के लाभ से बेटियां जन्म के बाद लखपति होने लगी हैं। त्रि-स्तरीय पंचायत निर्वाचन में भी महिलाओं को 50 प्रतिशत आरक्षण देने की पहल से महिलाएँ पंच, सरपंच, नगरपालिका और जनपद, जिला पंचायत अध्यक्ष और सदस्य बनकर सरकार चला रही हैं। उन्होंने बताया कि प्रदेश में महिलाओं के नाम पर संपत्ति क्रय करने पर स्टाम्प ड्यूटी में छूट का प्रावधान भी किया गया है। अब बहनों के नाम पर खेत, मकान, दुकान खरीदे जा रहे हैं।
पेसा नियम जनजातीय कल्याण से जुड़ा अधिनियम
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के सभी 89 आदिवासी विकासखंडों में पेसा नियम का क्रियान्वयन कर स्थानीय निवासियों को जल, जंगल, जमीन के अधिकार देते हुए ग्रामसभाओं को सशक्त किया गया है। उन्होंने पेसा अधिनियम की विस्तार से जानकारी दी।
जमीन का पट्टा देकर बना रहे जमीन का मालिक
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन गरीबों के पास रहने की जगह नहीं हैं। उनके लिए मुख्यमंत्री आवासीय भू-अधिकार योजना बनाई गई है। ऐसे लोगों को जमीन का पट्टा देकर जमीन का मालिक बनाया जा रहा है। प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ देकर सभी के पक्के आवास बनाए जा रहे हैं। जल जीवन मिशन में प्रदेश के प्रत्येक ग्राम में घर-घर नल से शुद्ध पेयजल पहुँचाने के लिए तेजी से कार्य किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि गरीब परिवार के बच्चों के लिये गुणवत्तायुक्त शिक्षा की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए सीएम राईज स्कूल बनाए जा रहे हैं। प्रदेश में मेडिकल और इंजीनियरिंग की पढ़ाई भी अब हिन्दी में हो रही है।
समारोह में केन्द्रीय इस्पात एवं ग्रामीण विकास राज्य मंत्री फ़ग्गन सिंह कुलस्ते और राज्यपाल मंगुभाई पटेल ने भी संबोधित किया।
विकास कार्यों का भूमि-पूजन-लोकार्पण और हितलाभ वितरण
राज्यपाल और मुख्यमंत्री ने 224 करोड़ रुपये से अधिक के विकास कार्यों का भूमि-पूजन-लोकार्पण किया। साथ ही शासन की विभिन्न जन-कल्याणकारी योजना से लाभान्वित होने वाले हितग्राहियों को हितलाभ वितरण किया। सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति और पर्यावरणीय-संरक्षण की पहल पर केन्द्रित ’धरती करे पुकार’ का मंचन हुआ। राज्यपाल और मुख्यमंत्री ने विकास प्रदर्शनी का अवलोकन भी किया। राज्यपाल एवं मुख्यमंत्री को बहनों ने राखी भेंट की। साथ ही स्व-सहायता समूह की दीदियों द्वारा स्थानीय उत्पाद भेंट किये गये।
जनसेवा मित्रों, पेसा समन्वयक तथा जन अभियान परिषद के सदस्यों से संवाद
राज्यपाल और मुख्यमंत्री ने सीएम जन-सेवा मित्र, पेसा समन्वयक तथा जन अभियान परिषद के सदस्यों के साथ संवाद भी किया। मुख्यमंत्री ने जिले में जन-सेवा मित्रों से लाड़ली बहना योजना सहित अन्य कल्याणकारी योजनाओं के क्रियान्वयन की जमीनी हकीकत का फीडबेक लिया। उन्होंने कहा कि जन-कल्याण के इस कार्यक्रम में जन-सेवा मित्र पूरे मन से जुड़ें।
पेसा नियम को सरल भाषा में समझाएँ
मुख्यमंत्री ने पेसा समन्वयकों से कहा कि पेसा नियम जनजातीय कल्याण के उद्देश्य से लागू किया गया है। इसका जमीनी स्तर तक प्रभावी क्रियान्वयन आवश्यक है। समन्वयक नियम को सरल भाषा में एवं सहज तरीके से समझाएँ।
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