नई दिल्ली। पंजाब कांग्रेस के पूर्व प्रधान नवजोत सिंह सिद्धू (Navjot Singh Sidhu) शनिवार को दस माह बाद पटियाला की सेंट्रल जेल (Patiala Central Jail) से रिहा हो गए। 59 वर्षीय कांग्रेस नेता सिद्धू ने 1988 के रोड रेज के मामले में एक साल की सजा काटी। पिछले साल 20 मई को सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) के एक साल सश्रम कारावास की सजा सुनाए जाने के बाद सिद्धू ने पटियाला की एक अदालत के सामने आत्मसमर्पण कर दिया था।
उनके समर्थक सुबह से ही पटियाला जेल के बाहर जुटने लगे थे। ढोल वालों को भी बुलाया गया था। इसके बाद सिद्धू की रिहाई का इंतजार शुरू हुआ। पहले दोपहर 12 बजे उन्हें रिहा करने की बात कही जा रही थी, लेकिन पेपर वर्क पूरा होते होते शाम हो गई। शाम छह बजने से कुछ मिनट पहले सिद्धू जेल से बाहर निकले। समर्थकों की नारेबाी पर सिद्धू ने झुककर उनका अभिवादन किया।
बाहर आने के बाद सिद्धू ने अपने चिरपरिचित अंदाज में कहा कि सत्य को दबाने का प्रयास सफल नहीं हो सकता। आज लोकतंत्र बेड़ियों में है। सिद्धू ने कहा कि पंजाब में राष्ट्रपति शासन लाने की साजिश की जा रही है। अल्पसंख्यकों को निशाना बनाया जा रहा है। पंजाब को कमजोर करने की कोशिश की तो कमजोर हो जाओगे। अभी लोकतंत्र नाम की कोई चीज नहीं है।
उन्होंने कहा कि मुझे दोपहर के आसपास रिहा किया जाना था लेकिन उन्होंने इसमें देरी की। वे चाहते थे कि मीडिया के लोग चले जाएं। इस देश में जब भी कोई तानाशाही आई है तो एक क्रांति भी आई है और इस बार उस क्रांति का नाम है राहुल गांधी. वह सरकार को हिला देंगे। पंजाब कांग्रेस प्रधान अमरिंदर सिंह राजा वड़िंग ने सिद्धू की रिहाई से पहले एक ट्वीट कर उनका स्वागत किया। वड़िंग ने ट्वीट किया- नवजोत सिंह सिद्धू का स्वागत है। जैसे ही आप सभी पंजाबियों की सेवा में सार्वजनिक जीवन शुरू करेंगे, आपसे जल्द ही मिलने की उम्मीद है।
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