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    50 फीसदी जमीन लेने के साथ सडक़ निर्माण के लिए लेवी की वसूली भी करेगा प्राधिकरण

  • February 07, 2023

    इंदौर (Indore)। लैंड पुलिंग (land pulling) के तहत प्राधिकरण द्वारा घोषित की गई पांच योजनाओं (five plans) में विकास कार्य शुरू करवाए गए। कल प्राधिकरण बोर्ड बैठक (authorization board meeting) में कई सडक़ों के टेंडर मंजूर किए गए, तो दूसरी तरफ शासन ने मंजूरी के बाद दो टीपीएस योजनाओं के जमीन मालिकों की सुनवाई की प्रक्रिया भी शुरू की गई। कल कनाडिय़ा, टिगरियाराव, भिचौली हब्सी में घोषित की गई टीपीएस-9 के जमीन मालिकों की सुनवाई हुई। लगभग 700 एकड़ पर घोषित इस योजना में 550 आपत्तिकर्ता हैं। हालांकि इनमें से 290 आपत्तियां एक जैसी ही मिली और कल 250 से अधिक जमीन मालिक अपने वकीलों के साथ पहुंचे। 50 फीसदी जमीन लौटाने के साथ प्राधिकरण मास्टर प्लान की सडक़ों के निर्माण के लिए इनहैंसमेंट चार्ज यानी लेवी भी वसूलेगा, जिसको लेकर सख्त आपत्ति दर्ज कराई गई। वहीं मंजूर अभिन्यासों के बावजूद कई जमीनें योजना में शामिल कर ली, उन्हें छोडऩे की मांग भी की गई। आज सुपर कॉरिडोर की टीपीएस-10 की सुनवाई होना है।

    लैंड पुलिंग एक्ट में आधी जमीन उसके मालिक को लौटा दी जाती है और शेष आधी जमीन में से 30 फीसदी का उपयोग इन्फ्रास्ट्रक्चर यानी सडक़, बगीचे, कम्युनिटी सेंटर सहित अन्य सार्वजनिक उपयोग में किया जाता है और शेष 20 फीसदी जमीन प्राधिकरण बेचकर अपना खर्चा निकालता है। हालांकि अधिकांश जमीन मालिकों को मुख्य सडक़ों से लगे हुए भूखंड ही 50 फीसदी के रूप में दिए जा रहे हैं। मगर एक आपत्ति यह भी आई कि जब 50 फीसदी जमीन ली जा रही है तो फिर लेवी वसूली की क्या जरूरत है? प्राधिकरण के पूर्व विधि अधिकारी और हाईकोर्ट अभिभाषक, जो कल जमीन मालिकों की तरफ से उपस्थित हुए रिपुसुधन शर्मा का कहना है कि इस तरह की वसूली गलत है।


    क्या भू-अर्जन अवॉर्ड पारित होने के बाद किसान और कहीं जमीन खरीदता है तो क्या कलेक्टर उससे होने वाले मुनाफे में से राशि की मांग करते हैं? जब प्राधिकरण को 20 फीसदी भूखंड मिल रहे हैं तो अतिरिक्त चार्ज लेने की जरूरत ही नहीं है। कुछ जमीन मालिक ऐसे भी थे जिन्होंने नगर तथा ग्राम निवेश से अनुमति प्राप्त कर रखी है, तो तिलक नगर एक्सटेंशन और शांति विहार के भी जमीन मालिक सुनवाई में पहुंचे। शहर की सबसे पुरानी गृह निर्माण संस्थाओं में शामिल टेक्सटाइल वर्कर्स को-ऑपरेटिव हाउसिंग सोसायटी की तिलक नगर एक्सटेंशन कॉलोनी है, जिसमें सभी तरह की अनुमतियां लेने की जानकारी दी गई। हालांकि प्राधिकरण द्वारा बनाई कमेटी, जिसमें अपर कलेक्टर डॉ. अभय बेड़ेकर, प्राधिकरण सीईओ आरपी अहिरवार, नगर तथा ग्राम निवेश और निगम अधिकारी शामिल रहे। वहीं आज सुपर कॉरिडोर की योजना टीपीएस-10 के जमीन मालिकों की सुनवाई की जाएगी।

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