विदिशा। शहर में रविवार का दिन जैन समाज द्वारा सम्मेद शिखर तीर्थ को पर्यटन एवं आमो-प्रमोद का स्थल केन्द्र एवं झारखंड सरकार द्वारा बनाए जाने के विरोध में मौन प्रदर्शन का रहा।इस मौन रैली में जैन समाज के साथ सभी व्यापारिक धार्मिक तथा राजनीतिक संगठनों ने अपनी उपस्थिति दर्ज कराकर यह सिद्ध कर दिया कि भारतीय संस्कृति के साथ जैन धर्म जुड़ा हुआ है। इस अवसर पर भाजपा नेता मुकेश टंडन ने भगवान महावीर एवं आचार्य विद्यासागर महाराज की जयघोष करते हुये कहा कि विदिशा नगर की सड़कों पर जन सैलाब है।
झारखंड सरकार ने जो प्रस्ताव केन्द्र सरकार को दिया और उस प्रस्ताव के आधार पर जो निर्णय लिया गया वह अकेले जैन समाज का ही अपमान नहीं वल्कि सभी धर्मों का अपमान है। सरकार को अपना फैसला वापिस लेना चाहिए।
इस अवसर नपाध्यक्षा प्रीति शर्मा, तोरन सिंह जी, श्यामसुंदर शर्मा ने सम्वोधित किया। जिला सकल जैन समाज के अध्यक्ष राकेश गोहिल ने ज्ञापन का वाचन कर ज्ञापन प्रशासन को दिया। इस अवसर पर समाज के राघवजी हृदयमोहन जैन, अतुल शाह, कन्छेदीलाल जैन, व्यापार महासंघ अध्यक्ष मुन्ना भैया जैन, बसंत जैन, पंकज जैन मेहताव सिंह यादब, मनोज कटारे, कमल सिलाकारी, रणधीर सिंह ठाकुर, बन्नु भाई, सुरेश मोतियानी, नीरज चौरसिया, राधेश्याम माहेश्वरी, केजी माहेश्वरी, शैलेंद्र राजपूत, धर्मेन्द्र यादव, रहीस अहमद कुरैशी सहित बड़ी संख्या में व्यापारी एवं समाज सेवी दीपक तिवारी, शिवराज यादव सुशील शर्मा, जिनेश जैन, सुरेंद्र पाल, नेत्री सपना जैन, नीता सर्राफा, ज्योति जैन, मंजरी जैन उपस्थित थी। सभी ने एक जुट होकर कहा कि केन्द्र सरकार और झारखंड सरकार को उक्त अध्यादेश बापिस लेना चाहिए।
बस दिख रही कमाई…
इस अवसर पर विधायक शशांक भार्गव ने कहा कि जैन धर्म प्राचीन धर्म है जो कि अहिंसा और मोक्ष का मार्ग बतलाते है।धार्मिक आस्था के केन्द्र पर आमोद प्रमोद के साधन बनाकर केन्द्र सरकार तीर्थ स्थानों से भी कमाई का साधन करना चाहते है उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी एवं झारखण्ड के मुख्यमंत्री से उपरोक्त अध्यादेश वापिस लेंने की मांग की।
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