इंदौर। पिछले तीन-चार महीनों से जब आप रीगल तिराहे से गुजर रहे होंगे तो गंदी बदबू आ रही होगी। इसका कारण पता किया तो मालूम चला कि रीगल की रोटरी में हजारों चूहों ने बिल बना रखे हैं और इसी कारण बदबू फैल रही है। इस पर महापौर परिषद ने बदबू से निजात दिलाने के लिए यहां दाने चुगने के लिए नया प्लेटफार्म तैयार किया है।
रीगल तिराहे पर अकसर लोग पक्षियों के लिए मक्का, ज्वार और अन्य दाने डाल जाते हैं। यहां लोग इन दानों को पूरी रोटरी में फैला जाते हंै, जहां दिनभर कबूतर दाना चुगने के लिए मंडराते रहते हैं। कई बार तो इतने दाने डाल जाते हैं कि दाने सडऩे लगते हैं अैर इन्हें पक्षी भी नहीं खाते। इन्हीं दानों को खाने के लिए चूहे भी बड़ी संख्या में रोटरी में ही बिल में रह रहे हैं। चूहों की तादाद इतनी बढ़ गई कि उन्होंने पूरी रोटरी में छेद कर दिए। बिल में कई चूहे मर भी जाते थे, जिसके कारण भी यहां गंदगी पसरने लगी थी। वहीं यहां कोई कार्यक्रम होता था तो लोगों के पैर चूहों के बिल पर रखा जाते थे और उसके कारण भी बिल में चूहे मर रहे थे।
कुछ महीनों से यहां बदबू आने लगी। इस पर नगर निगम ने पता करवाया तो मालूम चला कि यह बदबू रोटरी से ही आ रही है। इस पर महापौर परिषद ने निर्णय लिया कि पक्षियों के दाने चुगने के लिए स्थायी व्यवस्था कर दी जाए। फिलहाल निगम के यातायात और जनकार्य विभाग की ओर से यहां दो प्लेटफार्म बनाए गए हैं, जिन पर ही अब लोग दाने डाल सकेंगे। इधर-उधर दाने डालने की मनाही रहेगी। इसके साथ ही रोटरी में आकर्षक पौधे लगाए जाने की भी योजना है, जिसका काम अलग से किया जाएगा। इस मामले में महापौर पुष्यमित्र भार्गव का कहना है कि शहर के कुछ गार्डनों में भी इस प्रकार के प्लेटफार्म बनाए जाने की योजना है, ताकि एक स्थान नियत हो, जहां पक्षियों के लिए दाना डाल सकें। इसके लिए हम जल्द ही कुछ स्थानों का चयन करने जा रहे हैं। वहीं जनकार्य प्रभारी राजेंद्र राठौर ने भी कहा कि ऐसे स्थानों पर उद्यान विभाग की ओर से सजावट की जाएगी, जिसमें आकर्षक नए पौधे लगाए जाएंगे। पिछले दिनों हम पीपल्याहाना तालाब के निरीक्षण के लिए गए थे, जहां लोग इधर-उधर दाने डाल जाते हैं। वहां भी इसी तरह का प्लेटफार्म बनाने पर विचार किया जा रहा है।
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