उज्जैन। सात दिवसीय अखिल भारतीन कालिदास समारोह का शुभारंभ कल शाम होगा। समारोह में शहर के लोगों को आमंत्रित करने के लिए आज सुबह रामघाट पर मंगल कलश पूजन हुआ और कलश यात्रा शहर के विभिन्न मार्गों से निकली तथा अकादमी परिसर पहुंची। इसके एक दिन पहले बुधवार को महाकवि कालिदास की आराध्य देवी गढ़कालिका मंदिर में वागर्चन हुआ।
अखिल भारतीय कालिदास समारोह के शुभारंभ के दो दिन पहले कल बुधवार को महाकवि की आराध्या गढ़कालिका देवी का पूजन एवं स्तोत्र पाठ हुआ। कार्यक्रम में विक्रम विवि के कुलपति प्रो. अखिलेषकुमार पाण्डे, पूर्व कुलपति प्रो. बालकृष्ण शर्मा, कालिदास संस्कृत अकादमी के प्रभारी निदेशक डॉ. संतोष पंड्या, महर्षि पाणिनि संस्कृत वैदिक विवि के विभागाध्यक्ष डॉ. तुलसीदास परौहा, कालिदास समिति के सचिव प्रो. शैलेन्द्रकुमार शर्मा आदि ने देवी का पूजन किया। कालिदास समारोह का शुभारंभ कल शाम 7 बजे कालिदास अकादमी परिसर में होगा। इसमें मुख्य अतिथि के रूप में राज्यपाल मंगूभाई पटेल शामिल होंगे। अध्यक्षता संस्कृति मंत्री उषा ठाकुर करेंगी। शुभारंभ के एक दिन पहले आज सुबह रामघाट से मंगल कलशयात्रा का आयोजन किया गया। प्रात: 10 बजे रामघाट पर माँ शिप्रा एवं कलश पूजन हुआ। इसके बाद महाकाल मंदिर से कलशयात्रा प्रारंभ हुई। कलशयात्रा में भावनगर गुजरात के लोक कलाकारों का दल एवं झाबुआ के पारम्परिक लोकदल द्वारा लोकनृत्य की प्रस्तुति संपूर्ण कलश यात्रा मार्ग की गई। कलशयात्रा के आगे संपूर्ण मार्ग पर संस्कार भारती के रांगोली दल द्वारा सुन्दर रांगोली का निर्माण किया गया।
निमंत्रण देते यहाँ से गुजरी कलश यात्रा
आज सुबह रामघाट पर पूजन के बाद महाकाल मंदिर प्रांगण से आरंभ होकर कलशयात्रा गुदरी चौराहा, गोपाल मंदिर, छत्रीचौक, कंठाल, नईसड़क, दौलतगंज, मालीपुरा, देवासगेट, चामुण्डा चौराहा, टॉवर चौक, शहीद पार्क, ढक्कन वाला कुआं, गुरुद्वारा, पुलिस कंट्रोल रूम, दशहरा मैदान चौराहा, संजीवनी अस्पताल के सामने से होती हुई अकादमी परिसर पहुँची, जहाँ मंगल कलश स्थापित किए गए। शहर के विभिन्न समाजों, संगठनों, व्यापारी एसोसिएशन की ओर से यात्रा का जगह-जगह स्वागत किया गया। यात्रा के माध्यम से शहरवासियों को कालिदास समारोह में भागीदारी के लिए आमंत्रित किया गया।
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