इंदौर। भागीरथपुरा में पत्नी टीना, बेटे दिव्यांश और बेटी याना को जहर देकर आत्महत्या करने वाले सागर के अमित यादव और तीन अन्य का आज एमवाय अस्पताल में पोस्टमार्टम होगा। उसके बाद ही सभी के शव का अंतिम संस्कार किया जाएगा। बताया जा रहा है कि अमित के ससुराल वाले यहीं सभी का अंतिम संस्कार कराना चाहते हैं।
इस घटना को लेकर पुलिस ने अभी तक जो जांच की है उसमें यह बात सामने आ रही है कि अमित ने इतने मोबाइल ऐप से लोन ले लिया था कि एक लोन का ब्याज ही चुकाने के लिए उसे नए ऐप से कर्जा लेना पड़ रहा था। अमित अलग-अलग काम कर परिवार का गुजारा करता था, जिसके चलते वह आर्थिक तंगी से जूझ रहा था। बताया जा रहा है कि ऑनलाइन लोन देने वाले मैने टू बैलेंस, मनी पॉकेट, मनी व्यू, डांंमार्ट सहित कई ऐसे ऐप हैं, जिनसे अमित ने लोन लिया था।
ये ऐप ज्यादा दस्तावेज नही मांगते और तुरंत लोन दे देते हैं। यहां तक की बिना आधार कार्ड, बिना केवाईसी के लोन देते हैं। इनकी ब्याज दर भारी पड़ती है। अगर लोन लेने वाला लोन की किस्तें नहीं चुका पाता तो उसके डाटा से उसे उक्त कंपनी वाले प्रताडि़त करते हैं। उसके मोबाइल में अंकित मोबाइल नंबरों के आधार पर लोन लेने वाले के परिजन और उसके दोस्तों को फोन लगाकर लोन की किस्तें और लोन की राशि भरवाने के लिए तकादा लगाते हैं। आज पुलिस अमित के सारे बैंक खातों में किए गए ट्रांजेक्शन की जांच करेगी और पता लगाएगी कि उसने किस ऐप से कितना लोन लिया था और उसकी ब्याज दर क्या थी। ट्रांजेक्शन में इन सारी बातों का खुलासा हो जाएगा, जिसके बाद दोषियों पर पुलिस कार्रवाई भी करेगी।
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