नई दिल्ली। भारत (India) और मालदीव (Maldives) एक-दूसरे द्वारा जारी किए कोविड-19 टीकों (covid -19 vaccine) के प्रमाणपत्र को परस्पर मान्यता देने पर शनिवार को राजी हो गए. इस कदम से दोनों देशों के बीच यात्रा आसान हो जाएगी और पर्यटन क्षेत्र को बढ़ावा मिलेगा. माले में वार्ता के बाद मालदीव के विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद(Maldivian Foreign Minister Abdullah Shahid) के साथ संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में विदेश मंत्री एस जयशंकर (Minister of External Affairs S Jaishankar) ने कोरोना वायरस महामारी के दौरान सफलता की कहानी लिखने के लिए मालदीव को बधाई दी. उन्होंने कहा कि कोविड-19 प्रमाणपत्रों को आज परस्पर मान्यता देने से भारत और मालदीव के बीच यात्रा आसान हो जाएगी. भारत मालदीव के लिए पर्यटकों का शीर्ष स्रोत रहा है. आवश्यक सामान और माल की सुचारू आपूर्ति भी की गई है.
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि कोरोनावायरस महामारी के बावजूद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मालदीव के राष्ट्रपति इब्राहिम मोहम्मद सालेह के मार्गदर्शन में इस साल हमारे संबंधों में तेज गति से प्रगति देखी गई है. साथ ही कहा कि भारत और मालदीव का रिश्ता क्षेत्र में स्थिरता के लिए एक ताकत है, हमारी साझा जिम्मेदारी इसे पोषित और मजबूत करेगी. विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि हमारी पारदर्शी विकास साझेदारी मालदीव की जरूरत और प्राथमिकता पर आधारित है और आज ये बढ़कर 2.6 अरब डॉलर तक पहुंच गई है. भारत ने पिछले साल मालदीव को कोविशील्ड टीके की दो लाख से अधिक खुराक दी थीं. इससे पहले विदेश मंत्री एस जयशंकर मालदीव और श्रीलंका की अपनी पांच दिवसीय यात्रा के तहत शनिवार को माले पहुंचे. मालदीव के विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद ने माले हवाई अड्डे पर विदेश मंत्री एस जयशंकर की अगवानी की. मालदीव में अपने प्रवास के दौरान विदेश मंत्री एस जयशंकर भारत के सहयोग से चलाई जा रही कई परियोजनाओं का उद्घाटन करेंगे और दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय सहयोग को और मजबूत करने के लिए कई समझौते करेंगे. इससे पहले विदेश मंत्रालय ने कहा था कि 26 और 27 मार्च के दौरान मालदीव के अद्दू शहर दौरे के दौरान जयशंकर राष्ट्रपति इब्राहिम मोहम्मद सोलिह से मुलाकात करेंगे और विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद के साथ चर्चा करेंगे.