मेंगलुरु । कर्नाटक में हिजाब विवाद (Karnataka Hijab Controversy) फिलहाल जारी है. इस मामले को लेकर उच्च न्यायालय (Karnataka High Court) में सुनवाई जारी है. इस बीच राज्य के सभी स्कूल आज से खुल गए हैं, ऐसे में सरकार ने एहतियातन धारा 144 लगा दी है. प्रशासन ने यह कदम कर्नाटक में किसी में किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए उठाया है. राज्य में अब तक कुल 9 जिलों में धारा 144 लगाई जा चुकी है.
राज्य सरकार का यह आदेश सभी शैक्षणिक संस्थानों से 200 मीटर की दूरी पर लागू है. इससे पहले 13 फरवरी को उडुपी जिला प्रशासन ने धारा 144 लगाते हुए कहा था कि 19 फरवरी तक सभी क्षेत्रों में स्थित हाई स्कूल के आसपास यह नियम लागू रहेगा. फिलहाल कर्नाटक के उडुपी, बगलकोट, बेंगलुरु, चिक्काबालापुरा, गडक, शिमोगा, मैसूर और दक्षिण कर्नाटक में धारा 144 लागू की गई है.
आदेश के अनुसार, स्कूलों के इस दायरे के भीतर पांच या इससे अधिक लोगों के एकत्रित होने पर रोक रहेगी. प्रदर्शन तथा रैलियों पर प्रतिबंध रहेगा. नारेबाजी करने, गीत गाने या भाषण देने पर सख्त पाबंदी रहेगी.
कर्नाटक के विभिन्न हिस्सों में हिजाब को लेकर हुए प्रदर्शन और कुछ स्थानों पर हिंसा भड़कने के बाद राज्य सरकार ने नौ फरवरी को तीन दिन के लिए कक्षाएं बंद कर दी थी जिसे बाद में 16 फरवरी तक के लिए बढ़ा दिया गया था. विवाद के कारण लगभग एक हफ्ते तक बंद रहने के बाद उच्च विद्यालयों को सोमवार को फिर से खोला गया था. इस दौरान कई स्कूलों में हिजाब पहनकर प्रवेश करने को लेकर विवाद की घटनाएं भी सामने आईं. हालांकि अधिकतर मुस्लिम छात्राओं ने कक्षाओं में प्रवेश करने से पहले हिजाब हटाकर उच्च न्यायालय के अंतरिम आदेश का पालन किया. भगवा शॉल में हिंदू छात्राओं के आने की कोई रिपोर्ट नहीं थी.
मुस्लिम छात्राओं ने कक्षाओं में प्रवेश करने से पहले हिजाब हटाकर उच्च न्यायालय के अंतरिम आदेश का पालन किया. उन्होंने कहा कि भगवा शॉल में हिंदू छात्राओं के आने की कोई रिपोर्ट नहीं थी. कानून-व्यवस्था बनाए रखने और किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए उडुपी शहर और स्कूलों के पास पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है. कर्नाटक उच्च न्यायालय ने अपने अंतरिम आदेश में हिजाब से संबंधित सभी याचिकाओं के लंबित रहने के दौरान राज्य सरकार से शैक्षणिक संस्थानों को फिर से खोलने का अनुरोध किया था और सभी छात्रों को भगवा शॉल, स्कार्फ, हिजाब और किसी भी धार्मिक ध्वज को कक्षा के भीतर पहनने पर रोक लगा दी थी.
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