नई दिल्ली। आधार देश में एक अनिवार्य दस्तावेज है। केंद्र सरकार (central government) ने तमाम योजनाओं को आधार से लिंक कर दिया है। भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (Unique Identification Authority of India) ने ग्राहकों के लिये आधार सत्यापन (aadhar verification) की राशि को 20 रुपये से घटाकर 3 रुपये कर दी है।
यूआईडीएआई (UIDAI) के मुख्य कार्यपालक अधिकारी सौरभ गर्ग (Executive Officer CEO Saurabh Garg) ने एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए इस बारे में कहा कि वित्तीय प्रौद्योगिकी क्षेत्र में आधार का लाभ उठाने की अपार संभावनाएं हैं। इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि विभिन्न एजेंसियां और संस्थान सरकार द्वारा तैयार डिजिटल बुनियादी ढांचे का बेहतर उपयोग कर सकें। मान-सम्मान के साथ लोगों के जीवन को सुगम बनाने के लिये इन बुनियादी ढांचों का उपयोग जरूरी है।
अब तक 99 करोड़ ई-केवाईसी (e-KYC) के लिये आधार प्रणाली का उपयोग किया गया है। यूआईडीएआई (UIDAI) ने आगे ये भी कहा कि वो किसी के साथ बायोमेट्रिक्स साझा नहीं करता है और अपने सभी भागीदारों से अपेक्षा करता है कि वे समान स्तर की सुरक्षा और गोपनीयता बनाए रखें जैसा कि प्राधिकरण करता है।
वैसे 54 मंत्रालयों की लगभग 311 केंद्रीय योजनाएं आधार का उपयोग करते हुए प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (DBT) प्लेटफॉर्म के तहत आती है। किसानों के लिए सरकार की चलाई गई योजना जैसे- पीएम-किसान सम्मान निधि योजना (PM-Kisan Samman Nidhi Scheme) आधार प्लेटफॉर्म पर आधारित है, जिसके तहत लगभग 10 करोड़ किसानों को हर चार महीने के बाद 2000 रुपये ट्रांसफर किए जाते हैं। आधार वेरिफिकेशन का मतलब है कि किसी योजना के लाभार्थी की सही पहचान करने के लिए आधार संख्या का इस्तेमाल किया जा रहा है।
आपकी जानकारी के लिए बता दे नया आधार कार्ड बनवाने के लिए पैसा नहीं देना होता है, लेकिन आधार को अपडेट करने जैसे- नाम (Name), पता (Address), जन्म तिथि (date of birth), ई-मेल (e-mail) आदि में सुधार के लिए आपको चार्ज देना होगा। डेमोग्राफिक अपडेट (demographic update) के लिए 50 रुपये और बायोमेट्रिक अपडेट (biometric update) के लिए 100 रुपये देने पड़ेंगे।
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