इंदौर। लोकायुक्त पुलिस (Lokayukta Police) ने विकास अपार्टमेंट सोसायटी (Apartment Society) की तीन एकड़ जमीन गलत तरीके से बेचने के मामले में बिल्डर और तीन विभागों के अधिकारियों (builder and three departments officers) के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत केस दर्ज (case registered) किया है। इस जमीन की एक करोड़ की रजिस्ट्री (One crore registered) हुई थी और दस करोड़ में बेची गई थी। इस तरह नौ करोड़ का खेल हुआ था।
छह साल पहले आरटीआई कार्यकर्ता आदिल पालवाला (RTI activist Adil Palwala) ने लोकायुक्त में मय प्रमाण के शिकायत की थी कि विकास अपार्टमेंट सोसायटी के कर्ताधर्ताओं (apartment society actors) ने धोखाधड़ी से संस्था की लगभग 36 एकड़ जमीन में से 3 एकड़ जमीन गैर-आवासीय बताकर बेच दी थी।
यह जमीन दस करोड़ में उस समय बेची गई थी और रजिस्ट्री एक करोड़ की हुई थी। नौ करोड़ की बंदरबांट हुई थी। जांच डीएसपी एसएस यादव (Investigation DSP SS Yadav) कर रहे थे। छह साल बाद पुलिस ने मामले में कल संस्था के अध्यक्ष दीपक म्हसे (President Deepak Mhse), उपायुक्त सहकारी विभाग, संचालक नगर तथा ग्राम निवेश, भवन अधिकारी और बिल्डर अभय जैन के खिलाफ भ्रष्टाचार अधिनियम की धाराओं में केस दर्ज किया है।
जांच अधिकारी एसएस यादव ने बताया कि जांच पूरी हो चुकी है। विभागों से जमीन के मूल दस्तावेज जब्त करना हैं, ताकि जल्द ही चालान लगाया जा सके। नगर और ग्राम निवेश विभाग के संचालक रिटायर हो चुके हैं, जबकि बाकी नौकरी में हैं। सभी को केस दर्ज (case registered) करने के पहले नोटिस देकर बुलाया (called with notice) गया था और उनके बयान लिए गए थे। उन्होंने परमिशन देने की बात तो कबूली है, लेकिन उनका कहना था कि यह जमीन आवासीय है यह उनके संज्ञान में नहीं था।
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