नई दिल्ली: तमिलनाडु के कुन्नूर में भारतीय सेना का हेलिकॉप्टर क्रैश हो गया है. बुधवार को तमिलनाडु के जिस इलाके में ये वाहन क्रैश हुआ है, वह पूरा जंगली इलाका है. हेलिकॉप्टर क्रैश होने के बाद आसपास धुआं उठ रहा है. हेलिकॉप्टर में चीफ ऑफ डिफेंस जनरल बिपिन रावत समेत 14 लोग सवार थे. न्यूज एजेंसी ANI के मुताबिक इस हादसे में हेलीकॉप्टर में सवार 14 में से 13 की मौत हो गई. शवों की पहचान DNA टेस्ट से होगी. तमिलनाडु के सीएम एमके स्टालिन मौके पर पहुंच गए हैं.
हादसे वाली जगह पर सेना और स्थानीय पुलिस के अधिकारी पहुंच गए हैं. इसी बीच एक प्रत्यक्षदर्शी ने पूरे वाकये को बताया. इस प्रत्यक्षदर्शी का नाम कृष्णासामी है. उसके मुताबिक, उसने एक तेज आवाज सुनी. इसके बाद वह घर से बाहर निकला और देखा कि एक हेलिकॉप्टर एक पेड़ से दूसरे पेड़ पर टकराते हुए आग को गोला बन गया.
जानकारी के मुताबिक, इस हेलिकॉप्टर में बिपिन रावत के साथ उनकी पत्नी मधुलिका रावत भी मौजूद थीं. क्रैश हुए हेलिकॉप्टर में बिपिन रावत, उनकी पत्नी, एक ब्रिगेडियर रैंक का अधिकारी, एक अन्य अधिकारी और दो पायलट मौजूद थे. इस विमान को जो चला रहे थे, उन दो पायलट के नाम ग्रुप-कैप्टन पीएस चौहान, स्क्वाड्रन लीडर कुलदीप थे.
14 लोग थे सवार
हेलीकॉप्टर में 14 लोग सवार थे, जिनमें से 9 लोगों के नाम सामने आए हैं. हेलीकॉप्टर में जनरल बिपिन रावत (CDS Bipin Rawat) और उनकी पत्नी मधुलिका रावत के अलावा कई सीनियर अधिकारी शामिल थे. हादसे के बाद पहले 5 लोगों की मौत की पुष्टि हुई फिर 11 और अब 13 लोगों की जान जाने की खबर आ रही है. सभी डेड बॉडी निकाल ली गई हैं और तीनों घायलों को भी रेस्क्यू कर लिया गया है.
CDS बिपिन रावत को ले जाया गया अस्पताल
हादसे के बाद सीडीएस जनरल बिपिन रावत (CDS Bipin Rawat) की हालत के बारे में अभी तक अधिकृत तौर पर कोई बयान नहीं आया है वे अस्पताल ले जाए गए हैं. रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) दिल्ली स्थित उनके घर पहुंचे, वे कल तमिलनाडु के नीलगिरी में सेना के हेलीकॉप्टर के दुर्घटनाग्रस्त होने की जानकारी संसद में देंगे.
‘जलते हुए 2-3 लोगों ने लगाई थी छलांग’
कृष्णासामी के मुताबिक, जब हेलिकॉप्टर पेड़ से टकरा रहा था तब उसमें आग लग चुकी थी. इसी दौरान कृष्णासामी ने 2-3 लोगों को हेलिकॉप्टर से कूदते हुए देखा, सभी के शरीर में आग लगी हुई थी. कृष्णासामी ने अपने साथियों को इकट्ठा किया और रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया. जितनी भी लाशें मिली हैं, वह 80 फीसदी तक जल चुकी हैं.
वायु सेना ने दिए जांच के आदेश
भारतीय वायु सेना (Indian Air Force) ने ट्वीट कर बताया, ‘इंडियन एयर फोर्स का Mi-17V5 हेलीकॉप्टर तमिलनाडु के कुन्नूर के पास दुर्घटना का शिकार हो गया, जिसमें सीडीएस जनरल बिपिन रावत सवार थे. हादसे के कारणों का पता लगाने के लिए जांच के आदेश दे दिए गए हैं.’
बेहद सुरक्षित है ये हेलिकॉप्टर
कुन्नूर में सेना का जो हेलिकॉप्टर क्रैश हुआ है वो कोई आम हेलिकॉप्टर नहीं था. वो Mi-17V-5 हेलिकॉप्टर था, जिसे सैन्य इस्तेमाल के लिहाज काफी उन्नत माना जाता है. जिसका इस्तेमाल ट्रूप और आर्म्स ट्रांसपोर्ट, फायर सपोर्ट, एस्कॉर्ट, पेट्रोलिंग और सर्च-एंड-रेस्क्यू (SAR) मिशन के लिए भी किया जाता है. भारत में कई वीवीआईपी इसका इस्तेमाल करते हैं.
हेलिकाप्टर की विशेषताएं
Mi-17V-5 मीडियम-लिफ्टर को Mi-8 एयरफ्रेम के आधार पर डिजाइन किया गया था. इस हेलिकॉप्टर ने अपने पुराने मॉडल के उत्कृष्ट प्रदर्शन और विशेषताओं को बरकरार रखा. यह उष्णकटिबंधीय और समुद्री जलवायु के साथ-साथ रेगिस्तानी इलाकों में भी उड़ान भर सकता है.
इस हेलिकॉप्टर का बड़ा केबिन खास है. जिसमें 12.5m² का फ्लोर एरिया और 23m³ का स्पेस है. इसमें पोर्टसाइड दरवाजा और पीछे की तरफ जाने वाला रैंप सैनिकों और कार्गो के प्रवेश और निकास को आसान बना देता है. यह हेलीकॉप्टर में एक विस्तारित स्टारबोर्ड स्लाइडिंग डोर, रैपलिंग और पैराशूट उपकरण, सर्चलाइट, FLIR सिस्टम और आपातकालीन प्लवनशीलता प्रणाली से लैस है.
यह हेलिकॉप्टर का अधिकतम टेकऑफ़ वजन 13,000 किलोग्राम है. यह 36 सशस्त्र सैनिकों को एक साथ या एक गोफन पर 4,500 किलोग्राम भार ले जा सकता है. इसका ग्लास कॉकपिट अत्याधुनिक एवियोनिक्स से लैस है, जिसमें चार मल्टीफ़ंक्शन डिस्प्ले (MFDs), नाइट-विज़न उपकरण, एक ऑन-बोर्ड वेदर रडार और एक ऑटोपायलट सिस्टम शामिल हैं. उन्नत कॉकपिट पायलटों के कार्यभार को कम करता है. इसके अलावा भारत के लिए खास तौर पर बनाए गए Mi-17V-5 हेलीकॉप्टर में नेविगेशन, सूचना-डिस्प्ले और क्यूइंग सिस्टम भी शामिल हैं.
Mi-17V-5 हेलिकॉप्टर में शट्रूम मिसाइल, एस-8 रॉकेट, एक 23mm मशीन गन, पीकेटी मशीन गन और एकेएम सब-मशीन गन से लैस है. इसमें हथियारों को निशाना बनाने के लिए आठ फायरिंग पोस्ट हैं. इस हेलीकॉप्टर से दुश्मनों, बख्तरबंद वाहनों, भूमि-आधारित लक्ष्यों, गढ़वाले अग्नि चौकियों और गतिमान लक्ष्यों को निशाना बना सकता है.
इसका कॉकपिट और महत्वपूर्ण अंग बख्तरबंद प्लेटों से ढकें हैं. गनर की सुरक्षा के लिए पिछली मशीन गन के एरिया को भी बख़्तरबंद प्लेटों से सुरक्षित किया गया है. इसके सीलबंद ईंधन टैंक में फोम पॉलीयूरेथेन से भरे हुए हैं और यह विस्फोटों से सुरक्षित हैं. हेलीकॉप्टर में इंजन-एग्जॉस्ट इंफ्रारेड (IR) सप्रेसर्स, एक फ्लेयर्स डिस्पेंसर और एक जैमर शामिल हैं. ये हेलिकॉप्टर अधिकतम 6,000 मीटर की ऊंचाई तक उड़ान भर सकता है.
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