इंदौर। मंगलवार को शहर में लापरवाह प्रशासन और स्वास्थ सेवाओं (Administration, Health Services) की मानवता को शर्मसार करने वाली घटना देखने को मिली। दरअसल हुआ ये कि एक में सड़क हादसे में भाई-बहन के घायल होने के बाद एंबुलेंस (Ambulance) को सूचना देने के भी काफी देर तक जब वह घटना सथल पर नहीं पहुंची तो नगर निगम (Municipal Corporation) की कचरा गाड़ी में एमवाय अस्पताल (MY Hospital) ले जाना पड़ा। प्रशासनिक व्यवस्था (Administrative System) के साथ-साथ राहगीरों ने घायलों को अस्पताल पहुंचाने में कोई मदद नहीं की। इस हादसे में एक किशोरी की जान चली गयी, वहीं उसका भाई आईसीयू (ICU) में जिंदगी और मौत से लड़ रहा है। धार रोड (Dhar Road) पर आयशर गाड़ी की टक्कर से बाइक सवार लड़की की मोके पर ही मौत हो गई, जबकि भाई गंभीर रूप से घायल है। घटना चंदननगर (Chandannagar) इलाके की है। काफी देर तक एंबुलेंस (Ambulance) के नहीं आने पर दोनों घायलों को निगम की कचरा गाड़ी से एमवाय (MY) ले जाया गया, लेकिन लड़की को बचाया नहीं जा सका।
जानकारी के अनुसार जोबट में रहने वाली रंजना (18) पुत्री प्रताप बघेल (Ranjana Pratap Baghel) को उसकी दसवीं की परीक्षा दिलवाने के लिए उसका भाई मुकेश बघेल (Mukesh Baghel) बाइक से इंदौर लेकर आ रहा था। नाके के पास उन्हें एक तेज रफ्तार आयशर (Eicher) गाड़ी ने चपेट में ले लिया। हादसे के बाद काफी देर तक दोनों घायल सड़क पर पड़े रहे। लोगों ने एंबुलेंस को सूचना दी थी। कचरा गाड़ी (Garbage Car) से अस्पताल ले जाने के बाद रंजना ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया।बताया जा रहा है कि मुकेश राउ (Rau) में सरकारी कॉलेज (Government College) से BA की पढ़ाई कर रहा है। पिता किसान हैं। परिवार में दो बहनें और दो भाई हैं। मुकेश का (ICU) में इलाज चल रहा है। पुलिस टक्कर मारने वाले वाहन की तलाश कर रही है।
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