नागदा। शहर के नीलम ज्वैलर्स नामक दुकान से सोने की अंगुठियाँ तथा कपड़े की दुकान से सोने की चैन चोरी करने वाली गैंग को गिरफ्तार कर पूरे मामले का खुलासा शनिवार को पुलिस ने कर दिया। पुलिस ने दो आरोपियों को गिरफ्तार करते हुए उनके पास से चोरी का माल भी जब्त किया है। पुलिस ने बताया कि पहली घटना निलेश पिता छगनलाल पगारिया के यहाँ 30 सितम्बर की शाम हुई थी। उनकी कपड़े की दुकान पर माता रमाबाई की सोने की चेन अज्ञात महिलाएं कपड़े खरीदने के बहाने चुरा कर ले गई थी। महिलाओं के जाने के बाद गले में चेन नहीं होने पर रिपोर्ट दर्ज करवाई। दूसरे मामले मे विपिन कुमार जैन नीलम ज्वैलर्स के यहाँ एक नवम्बर को दिन में के दिन में एक महिला तथा एक पुरुष चाँदी का सिक्का खरीदने आए। उन्होंने 200 रुपये का चांदी का सिक्का मुझ से खरीदा, पास ही खुली आलमारी थी जिसमें सोने की अंगूठी का प्लास्टिक का डिब्बा रखा था।
ऐसे मिली सफ़लता
पुलिस अधीक्षक उज्जैन तथा अति.पुलिस अधीक्षक ग्रामीण के नेतृत्व में एसडीओपी नागदा मनोज रत्नाकर के मार्गदर्शन में थाना प्रभारी नागदा द्वारा अपनी टीम को घटना स्थल व आसपास के सीसीटीवी फुटेज देखने हेतु लगाया गया। पुलिस द्वारा घटना स्थल, चौराहों व गली-गली में लगे कैमरे के फुटेज बारीकी से देखे। शहर के बाहर बाईपास के फुटेज एव उज्जैन के फुटेज देखने के बाद मुखबिर से जानकारी मिली की ग्राम भड़ा पिपलिया थाना बरोठा जिला देवास के सांसी जाति के लोगों द्वारा ये घटना घटित करने की संभावना बताई। मुखबिर सूचना देवास के ग्राम टिगरिया चौराहा पर ग्राम भड़ा पिपलिया के सासी समाज का एक व्यक्ति व महिला खड़ा है जिन्होंने नागदा में दो बार चोरी की वारदात की तत्काल पुलिस ग्राम टिगरिया चौराहा पहुंची और दोनों को पकड़ लिया। दोनों के द्वारा चोरी की दोनों घटनाए कबूल करते हुए चुराई गई अंगूठी 52 नग वजन 115.5 ग्राम तथा एक सोने की चेन बजन 18 ग्राम की भी बरामद करवाई
प्लानिंग के साथ करते हैं वारदात
पुलिस पूछताछ में सामने आया कि ग्राम भड़ा पिपलिया की आदतन अपराधी किस्म की महिलाएं और पुरुष जब चोरी करने की योजना बनाते हैं तो इनका कोड वर्ड ( सोने की दुकान पर चोरी करना हो तो कहते हैं कि कैंसर की दवाई लेने चलना है और यदि चांदी के आभूषण चोरी करना हो तो लकवा की दवाई लेने चलना है) रहता है और गाँव की साधारण महिलाओं को दवाई लेने चलने की बात कहकर अपने साथ लेकर किराए के वाहन से भीड़भाड़ वाले इलाको में जाकर वाहन को शहर के बाहर खड़ा कर पैदल या ओटो से बाजार में घूम फिर कर दुकानों को टारगेट करती हैं और साथ आई साधारण महिलाओं से कुछ बहाना बनाकर उन्हें या तो अपने वाहन के पास या अन्य चौराहों पर खड़ा कर स्वयं आदतन अपराधी महिलाएं टारगेट की गई दुकान में जाकर कुछ आभूषण खरीदती हंै और दुकानदार को बातो में उलझाकर बड़ी सावधानी से सोने या चांदी के आभूषण चोरी कर मुताबिक योजना सभी निर्धारित स्थान पर खड़े वाहन से अपने गाँव चले जाते हैं। मामले के खुलासे में सीएसपी मनोज रत्नाकर, थाना प्रभारी नागदा श्यामचन्द्र शर्मा, उनि.राजेश कलमी, सउनि सुरेश सोनगरा, दिनेश गुर्जर, ईश्वर परिहार, मनोहर मोहरी, हेमेन्द्र, शर्मिष्ठा शुक्ला की भूमिका सराहनीय रही।
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