उज्जैन। कोरोना के चलते पिछले साल और इस साल भी बच्चों के स्कूल बंद हैं। निजी स्कूलों की तरह सरकारी स्कूलों में भी माध्यमिक स्कूल तक पढऩे वाले विद्यार्थियों की ऑनलाईन पढ़ाई चल रही है। दो साल स्कूल बंद रहने से शासन का उज्जैन जिले में बच्चों की ड्रेस पर खर्च होने वाला करीब 13 करोड़ रुपया बच गया है।
सरकारी स्कूलों में हर साल नए शिक्षण सत्र शुरु होते ही शासन को बच्चों की डे्रस के लिए राशि जारी करनी पड़ती है। उज्जैन जिले में प्राथमिक से लेकर माध्यमिक सरकारी स्कूलों में पढऩे वाले विद्यार्थियों की संख्या 1 लाख 15 हजार है। जिला शिक्षा विभाग से मिली जानकारी के अनुसार उज्जैन जिले में वर्ष 2018 में सरकारी स्कूलों में पढऩे वाले बच्चों को शासन की ओर से 6 करोड़ 50 लाख रुपए की राशि जारी हुई थी। इस राशि से 1 लाख 15 हजार बच्चों में से लगभग 600 रुपए यूनिफार्म के लिए जारी हुए थे। इसके बाद साल 2019 में भी बच्चों की यूनिफार्म के लिए लगभग इतनी ही राशि शासन ने दी थी। इधर 2020 में कोरोना महामारी की शुरुआत हो गई थी और स्कूल बंद रहे थे। यह महामारी अभी भी खत्म नहीं हुई है और प्राथमिक से लेकर माध्यमिक स्तर तक के स्कूल बंद हैं और बच्चों की ऑनलाईन पढ़ाई हो रही है। ऐसे में इन दो सालों में बच्चे सरकारी स्कूलों में नहीं पहुँचे। इसके चलते शासन ने भी इन दो सालों में बच्चों के यूनिफार्म की राशि भी जारी नहीं की। यही कारण है कि दो साल स्कूल बंद होने के कारण जिले में बच्चों की यूनिफार्म पर करीब 13 करोड़ की राशि खर्च नहीं हो पाई।
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