इंदौर। इस साल सावन (Sawan) का माह छोटा रहेगा। एक दिन तिथि (Tithi) वय होने के कारण सावन केवल 29 दिन का रहेगा। यह माह भगवान शिव ( Lord Shiva) का सबसे प्रिय है। सावन (Sawan) में कृष्ण पक्ष की द्वितीया तिथि (Tithi) और शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि (Tithi) का क्षय है, लेकिन कृष्ण पक्ष में छठ तिथि (Tithi) दो हो गई हंै। ऐसे में कृष्ण पक्ष तो पूरे 15 दिन का होगा, लेकिन शुक्ल पक्ष 14 दिन का ही रहेगा। सावन (Sawan) की शुरुआत 25 जुलाई रविवार श्रवण, घनिष्ठा नक्षत्र के द्विपुष्कर योग में होगी। सावन (Sawan) में चार सोमवार (Monday) तथा दो प्रदोष व्रत विशेष रहेंगे। कल्कि जयंती, नागपंचमी 13 अगस्त को मनाई जाएगी। सावन (Sawan) माह में 8 अगस्त को पितृ कार्य अमावस्या रहेगी। वहीं सावन (Sawan) की पूर्णिमा पर रक्षाबंधन रहेगा। 30 अगस्त को श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का पर्व मनाया जाएगा।
ज्योतिषाचार्य ( Jyotishacharya) ने बताया कि श्रावण (Shravan) को शिवत्व का सबसे पवित्र महीना माना जाता है। श्रावण (Shravan) शब्द श्रवण से बना है, जिसका अर्थ है सुनना, अर्थात् सुनकर धर्म को समझना। इस माह में सत्संग का बहुत ज्यादा महत्व है। हिंदू धर्म में श्रावण मास को पवित्र और व्रत रखने वाला माना गया है। इसलिए इस पूरे महीने में व्रतों का पालन करना चाहिए। यदि कोई साधक पूरे महीने व्रत नहीं रख सकता है तो उसे चार सोमवार के व्रत अवश्य रखना चाहिए।
व्रत से बढ़ती है सुख-समृद्धि
सावन (Sawan) के सोमवार (Monday) के व्रत रखने से सुख-शांति और समृद्धि बढ़ती है। वहीं साधु-संन्यासियों को सोमवार व्रत से भगवत कृपा के साथ मोक्ष की प्राप्ति होती है। अविवाहित युवतियां सावन (Sawan) के सोमवार (Monday) का व्रत करती हैं तो याम्य वर मिलता है और सुहागिन महिलाओं को सौभाग्य, सुख की प्राप्ति होती है। गृहस्थ के परिवार में प्रेम और बनता है।
नवगृहों का दोष दूर करता है अभिषेक
सावन (Sawan) के महीने का विशेष महत्व बताया गया है। मान्यता है कि भगवान शिव (Lord Shiva) की आराधना के लिए सावन (Sawan) मास सर्वश्रेष्ठ है। सावन (Sawan) में सोमवार (Monday) के दिन व्रत रखकर भगवान शिव (Lord Shiva) की उपासना को विशेष फलदायी माना गया है। सावन (Sawan) मास में ही कावड़ यात्रा का आयोजन होता है। सावन (Sawan) के सोमवार को भगवान शिव (Lord Shiva) का अभिषेक नवग्रहों का दोष दूर करता है।
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