बीजिंग। दुनिया की सबसे बड़ी ई-कॉमर्स कंपनियों में से एक Alibaba पर चीन(China) में 18 अरब युआन यानी 205.5 अरब रुपये का जुर्माना लगाया गया है. कंपनी पर ये जुर्माना वहां के बाजार रेग्युलेटर ‘स्टेट एडमिनिस्ट्रेशन फॉर मार्केट रेग्युलेशन’ State Administration for Market Regulation (SAMR) ने लगाया है. आखिर क्यों लगाया है कंपनी पर इतना बड़ा जुर्माना जाने यहां.
SAMR ने कहा कि दिसंबर में शुरू की गई एक जांच के नतीजे में उसने पाया कि कंपनी 2015 से बाजार में अपनी दमदार स्थिति का बेजा इस्तेमाल कर रही है. यह चीन(China) के एकाधिकार विरोधी (Anti-Monopoly) नियमों का उल्लंघन है. SAMR ने कंपनी को उपभोक्ता अधिकारों की सुरक्षा और कंपनी में आंतरिक स्तर पर कानून अनुपालन को बढ़ाने के सुधार करने का आदेश भी दिया है.
खबरों के मुताबिक SAMR ने बताया कि कंपनी उसके प्लेटफॉर्म पर सामान बेचने वाले मर्चेंन्ट्स को अन्य दूसरे ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म्स (E-Commerce Platforms) पर जाने से रोकती थी. यह चीन (China) में सामान की मुक्त आवाजाही को बाधित करने और मर्चेंट्स के व्यापार करने के अधिकारों का उल्लंघन है और इस तरह कंपनी ने एंटी-मोनोपॉली कानूनों की भी अवहेलना की है. कंपनी ने अपने आधिकारिक वीबियो एकाउंट पर एक बयान में कहा है कि वह SAMR के फैसले को स्वीकार करती है और उसके आदेश का पालन भी करेगी. कंपनी ने कहा कि वह कॉरपोरेट गवर्नेंस को बढ़ावा देने के कदम भी उठाएगी. कंपनी पर लगाया गया जुर्माना उसकी 2019 की कुल आय का लगभग 4% है. कंपनी पर लगाए गए इस जुर्माने को उस पर चीन की कम्युनिस्ट पार्टी के बढ़ते शिकंजे के तौर पर देखा जा रहा है. खबरों के मुताबिक कम्युनिस्ट पार्टी देश की तेजी से बढ़ रही प्रौद्योगिकी कंपनियों पर अपना नियंत्रण बढ़ा रही है. पार्टी के कई नेता चीन की इस बड़ी इंटरनेट कंपनी के बढ़ते प्रभाव को लेकर चिंतित हैं खासकर के तब जब कंपनी वित्त, स्वास्थ्य और अन्य संवदेनशील सेक्टर में अपना कारोबार बढ़ा रही है. इससे पहले अलीबाबा की वित्तीय कंपनी एंट ग्रुप को शेयर बाजार में लिस्ट होने से पहले ऐन मौके पर रोक दिया गया था.