दुबई । संयुक्त अरब अमीरात United Arab Emirates (UAE) में रहने वाले 16 वर्षीय भारतीय किशोर (Indian teenager) ने एक ऐसी तकनीक खोजी है, जिससे दीवार में छेद किए बिना ही भारी सामान लटकाया जा सकता है। अब किशोर ने अपनी इस तकनीक को परिवार के कारोबार का आधार बनाने का फैसला लिया है। मीडिया में आई खबरों से शनिवार को यह जानकारी मिली।
जेम्स वर्ल्ड अकादमी में कक्षा 10 का छात्र इशिर वाधवा (Ishir Wadhwa) इंटरनेशनल बैकलॉरीएट पाठ्यक्रम की पढ़ाई कर रहा है। इशिर ने कील गाड़ने से दीवारों को होने वाले नुकसान को देखा, उसके बाद उनके मन में इस नवोन्मेषी उपाय का विचार आया। उसके बाद उसने अपनी योजना पर काम करना शुरू कर दिया ।
इस बारे में दसवीं के छात्र इशिर ने बताया कि परियोजना को पूरा करने के लिए उसने अमेरिका के प्यूर्डे विश्वविद्यालय में इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहे बड़े भाई अविक से मार्ग दर्शन के लिए संपर्क किया। दोनों भाइयों ने दीवार में बिना छेद किए भारी सामान टांगने की तकनीक का विकल्प खोजने के लिए लंबा मंथन किया। इसके बाद यह उपाय सूझा और उन्होंने इस्पात की दो पट्टी और चुंबक से दीवार में छेद किए बिना सामान टांगने की समस्या का समाधान निकाला।
इशिर का कहना था कि उन्होंने इस तकनीक को ‘क्लैपइट’ नाम दिया है।उन्होंने बताया कि स्टील की एक पट्टी दीवार से चिपकी होती है, जिसे ‘अल्फा स्टील टेप’ नाम दिया गया है और दूसरी पट्टी जिसपर सामाना टांगा जाता है, उसे ‘बीटा स्टील टेप’ नाम दिया गया। चुंबक पूरे ढांचे को एक साथ जोड़े रहता है।
वहीं, अब इशिर के पिता सुमेश वाधवा अपने बेटे के कार्य से बहुत खुश हैं। उन्होंने कहा कि इस चुंबक की मदद से हम अपने पूरे होम थियेटर को दीवार में छेद किए बिना टांग सकते हैं। सुमेश ने अब अपनी नौकरी छोड़ दी है और परिवार के कारोबार के तहत ‘क्लैपइट’ उत्पाद को लांच करने का फैसला किया है।
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