रीवा। पुलिस अधीक्षक द्वारा निलंबित किये गये मनगवां टीआई एसके शुक्ला पर भाजपा विधायक का उपयोग कर पुलिस प्रशासन पर अनावश्यक दबाव बनाने के मुद्दे को पुलिस मुख्यालय ने गंभीरता से लिया है और उनके पूरे सेवाकाल कीसम्पूर्ण कुंडली तलब की है जिसके बाद अब यह लगने लगा है कि उन्हें बर्खास्त भी किया जा सकता है। उन पर आरोप है कि उन्होंने विधायक पंचूलाल प्रजापति के माध्यम से पुलिस प्रशासन पर कार्रवाई से बचने के लिये दबाव बना रहे हैं।
पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक विधायक पंचूलाल द्वारा कथित रूप से गृह मंत्री एवं पुलिस मुख्यालय को पत्र लिखकर टीआई एस.के. शुक्ला को एक सप्ताह के अंदर मनगवां थाने में ही बहाल किये जाने की मांग की है। उनकी मांग पूरी नहीं होने पर पुलिस अधीक्षक कार्यालय के समक्ष आंदोलन करने की चेतावनी भी दी गई है। इससे यह बात स्पष्ट हो जाती है कि घोर लापरवाही के पश्चात् पुलिस प्रशासन द्वारा की गई कार्रवाई से बचने के लिये इस पूरे मामले को विधायक के माध्यम से राजनीतिक रंग दिया जा रहा है।
गौरतलब है कि टीआई एस.के.शुक्ला इसके पूर्व भी कार्रवाई के दौर से गुजर चुके हैं। उनकी पदावनति की जाकर निरीक्षक से उपनिरीक्षक बना दिया गया था और उनके कंधे पर लगे तीन स्टार में से एक स्टार निकाल लिया गया था, लेकिन इस बार भी उन पर बेहद ही गंभीर आरोप लगे हैं उन पर फरियादी की रिपोर्ट पर कार्रवाई करने की बजाय उन्हें ही 36 घंटे तक थाने में रखा और इस दौरान फरियादी की बेटी की मौत हो गई और उसका शव नहर के किनारे पाया गया। इस पूरे मामले में उनकी घोर लापरवाही प्रमाणित होने के पश्चात् पुलिस निरीक्षक द्वारा निलंबित कर दिया गया है।
सूत्रों की माने तो पीएचक्यू में अब उन पर फिर से सख्त कार्रवाई करने का मन बना लिया है। उनकी पूरी कुंडली खंगाली जा रही है। नौकरी के दौरान उन्होंने किन-किन मामलों की जांच की तथा उनके विरूध क्या-क्या कार्रवाई की गई है।
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