नई दिल्ली। भारतीय खेल प्राधिकरण (साई) और भारतीय राष्ट्रीय राइफल संघ (एनआरएआई) एक जैव सुरक्षित वातावरण में राष्ट्रीय शूटिंग शिविर के आयोजन की संयुक्त जिम्मेदारी लेंगे। ओलंपिक के लिए क्वालीफाई कर चुके निशानेबाजों के लिए राष्ट्रीय शूटिंग शिविर का आयोजन डॉ. कर्णी सिंह शूटिंग रेंज में 15 अक्टूबर से 17 दिसंबर तक किया जाना है।
शूटिंग रेंज को बनाए रखने की जिम्मेदारी प्रशासक डॉ. कर्णी सिंह शूटिंग रेंज के पास है। सुरक्षा को बनाए रखने के लिए, कैंपर्स और रेंज कर्मियों के बीच संपर्क को कम करने के लिए निशानेबाजी रेंज को चार ‘जोखिम’ श्रेणियों ग्रीन,ऑरेंज, येलो और रेड जोन में बांटा गया है।
एनआरएआई के सचिव राजीव भाटिया ने एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा,”साई द्वारा जारी मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) के माध्यम से स्थापित सुरक्षा मानदंड बहुत गहन हैं, मार्च में कोरोना के कारण लगाए गए लॉक डाउन के बाद यह पहला राष्ट्रीय शिविर होगा और निशानेबाजों को सुरक्षित और आरामदायक वातावरण देने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाए गए हैं।”
सभी निशानेबाजों और कोचों को कोविड-19 टेस्ट से गुजरना होगा जो होटल में आयोजित किया जाएगा और इसे एनआरएआई द्वारा व्यवस्थित किया जाएगा। एनआरएआई ने रेंज के करीब स्थित होटल में खिलाड़ियों के ठहरने की व्यवस्था की है जिसमें साई मौजूदा एसओपी के अनुसार सहयोग प्रदान करेगा।
होटल से लेकर निशानेबाजी रेंज तक एसओपी का सही तरह से पालन करवाने की जिम्मेदारी एनआरएआई की होगी। दिल्ली राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र के बाहर से आने वाले निशानेबाजों और कोचों को सात दिन तक होटल में पृथकवास पर रहना होगा जबकि स्थानीय खिलाड़ियों और प्रशिक्षकों को सात दिन तक अपने घर में अलग थलग रहना होगा। इसके बाद वे अन्य खिलाड़ियों के साथ ही होटल में रहेंगे।
बता दें कि यह शिविर इससे पहले महामारी के कारण दो बार स्थगित किया जा चुका है। इसमें 32 निशानेबाजों (18 पुरुष और 14 महिला), आठ कोच, तीन विदेशी कोच और दो सहयोगी स्टाफ के भाग लेने की संभावना है। साई के अनुसार ओलंपिक के लिये क्वालीफाई कर चुके सभी 15 निशानेबाज इसका हिस्सा होंगे। इस पूरी प्रक्रिया में कुल 1.43 करोड़ रुपये की लागत आएगी। (एजेंसी, हि.स.)
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